अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव: रूस के अधिक निकट भारत को अमेरिकी नेतृत्व पर भरोसा नहीं : निक्की हेली
- भारत ने बेहद निपुणता से रूस से नजदीकी संबंध को बनाए रखा
- रिपब्लिकन पार्टी की उम्मीदवार बनने की रेस में शामिल निक्की हेली
- फॉक्स बिजनेस न्यूज को दिए एक साक्षात्कार में कहा
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव के लिए रिपब्लिकन पार्टी की उम्मीदवार बनने की रेस में शामिल निक्की हेली ने बुधवार को कहा कि भारत अमेरिका का सहभागी तो बनना चाहता है लेकिन फिलहाल वह नेतृत्व करने के लिहाज से अमेरिकियों पर भरोसा नहीं करता।
फॉक्स बिजनेस न्यूज को दिए एक साक्षात्कार में हेली ने कहा कि फिलहाल भारत अमेरिका को कमजोर मानता है। भारतीय-अमेरिकी हेली का कहना है कि वर्तमान के वैश्विक हालात में भारत ने बेहद निपुणता से रूस से नजदीकी संबंध को बनाए रखा। सरकारी समाचार एजेंसी पीटीआई भाषा से मिली जानकारी के अनुसार हेली ने कहा, मैंने भी भारत के साथ काम किया है। मैंने मोदी से बात की है। भारत हमारा साझेदार बनना चाहता है। वे रूस के साझेदार नहीं होना चाहते। एक प्रश्न के उत्तर में हेली में कहा, समस्या यह है कि भारत को हमारी जीत पर संशय है, वह नेतृत्व के लिए हम पर भरोसा नहीं करते।
उन्हें इस वक्त ऐसा लगता है कि हम कमजोर हैं। भारत ने हमेशा चतुराई से काम किया है और उसने रूस से करीबी संबंध बनाए रखा क्योंकि उन्हें वहां से काफी सैन्य साजो-सामान मिलता है। जब हम फिर से नेतृत्व करेंगे, जब हम खामियों को दूर करने का काम करेंगे, किसी समस्या या हालात को स्वीकारने में अनिच्छा को त्यागेंगे तभी हमारे मित्र भारत,ऑस्ट्रेलिया,न्यूजीलैंड, इजराइल,जापान,दक्षिण कोरिया सभी ऐसा करेंगे। सभी ऐसा ही करना चाहते हैं। जापान ने चीन पर निर्भरता कम करने के लिए अरबों डॉलर की प्रोत्साहन राशि जुटाई है।
उन्होंने कहा भारत ने चीन पर कम निर्भर होने के लिए अरब डॉलर की प्रोत्साहन राशि जुटाई है। उन्होंने कहा कि चीन आर्थिक मोर्चे पर कामयाब नहीं है और अमेरिका के साथ जंग की तैयारी में हैं और यहां वे गलती कर रहे हैं।