अभी भी एसटी महामंडल का 502 करोड़ भुगतान बाकी
अभी भी एसटी महामंडल का 502 करोड़ भुगतान बाकी
डिजिटल डेस्क, मुंबई। राज्य सरकार की ओर से अलग-अलग श्रेणियों के लोगों को किराए में दी जानेवाली रियायत की प्रतिपूर्ति के रुप में अभी भी महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन महामंडल (एसटी महामंडल) को 502 करोड़ रुपए का भुगतान किया जाना बाकी है। शुक्रवार को बांबे हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान किराए की प्रतिपूर्ति से जुड़ा यह आकड़ा सामने आया। हाईकोर्ट में पेशे से वकील दत्ता माने की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई चल रही है। याचिका में माने ने दावा किया है कि सरकार की ओर से स्वतंत्रता सेनानी, दिव्यांग,वरिष्ठ नागरिक, विद्यार्थी व पत्रकार समेत 25 श्रेणी के लोगों को किराए में रियायत दी जाती है। जिसकी प्रतिपूर्ति सरकार के संबंधित विभागों की ओर से की जाती है। याचिका में दावा किया गया है कि किराए के प्रतिपूर्ति की रकम दो हजार करोड़ रुपए के करीब पहुंच गई है। जिससे एसटी को परिचालन में दिक्कत आ रही है। एसटी महामंडल विभिन्न श्रेणियों के लोगों को किराए में दी जानेवाली रियायत को बंद करने पर विचार कर रहा है। इसलिए सरकार को एसटी की किराए में रियायत के रुप में बकाया रकम की प्रतिपूर्ति करने का निर्देश दिया जाए। मामले की पिछली सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने सरकार को कहा था कि वह एसटी के सुचारु संचालन के लिए उसे जरुरी सहयोग प्रदान करें।
शुक्रवार को यह याचिका कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश बीपी धर्माधिकारी व न्यायमूर्ति एनआर बोरकर की खंडपीठ के सामने सुनवाई के लिए आयी। इस दौरान एसटी महामंडल की ओर से खंडपीठ के सामने एक चार्ट पेश किया गया। जिसमे सरकार की ओर से प्रतिवर्ष किराए के रुप में की गई प्रतिपूर्ति का ब्योरा दिया गया था। इस चार्ट के मुताबिक अभी भी एसटी को 502 करोड़ रुपए नहीं मिले हैं। इस चार्ट पर गौर करने के बाद खंडपीठ ने सरकारी वकील को एसटी की ओर से दिए गए चार्ट का सत्यापन करने को कहा और इस विषय पर अपना जवाब देने को कहा। खंडपीठ ने फिलहाल मामले की सुनवाई तीन सप्ताह तक के लिए स्थगित कर दी है।