खरीदी के बाद भंडारण में आया 14 हजार क्विंटल का अंतर
पौने तीन करोड़ की धान गायब खरीदी के बाद भंडारण में आया 14 हजार क्विंटल का अंतर
डिजिटल डेस्क,सिवनी। जिले में पौने तीन करोड़ की धान गायब हो गई। अब इस धान को वापस लाने या उसके बदले पैसे देन के लिए समितियों और समूहों के पसीने छूट गए। दरअसल, समर्थन मूल्य पर जिले में हुई धान खरीदी और उसके भंडारण में 68 केंद्रों में 14 हजार क्विंटल से अधिक का शोर्टेज आया है। शार्टेज धान की कीमत 2.87 करोड़ रुपए है। फिलहाल अभी इसकी वसूली के लिए विभागीय तौर पर अभी कोई कार्रवाई नहीं की गई है। कई केंद्र ऐेसे हैं जहां पर 11 सौ से 14 सौ क्विंटल की धान की शार्टेज आई है। इस बार समूहों द्वारा मनमानी की गई है।
तौल लेने के बाद भी शार्टेज
अधिकांश खरीदी केंद्रों में किसानों से अधिक धान ली गई है। शासन के नियमानुसार 40 किलो धान 500 ग्राम के बारदाने में लेना है यानी एक बारदाने में धान समेत कुल वजन 40 किलो 500 ग्राम होना था लेकिन ऐसा हर जगह नही हुआ। जिले के धूमा, पलारी, आष्टा, घंसौर, लखनादौन के अलावा भोमा व अन्य स्थानों में किसानों से अधिक धान तौली गई है। केंद्र प्रभारियों ने शार्टेज से बचने के लिए यह तरीका अपनाया था लेकिन उसके बाद भी शार्टेज आ गई। माना यह भी जा रहा है कि धान को जमा नहीं कराया गया।
धान चोरी पर लगाम नहीं
बड़े पैमाने पर धान की खरीदी होने के बाद भी धान की चोरी नहीं रूकी। इसमें ट्रांसपोर्टरों को जो जिम्मा दिया गया था उस पर कोई निगरानी नहीं रखी गई। पिछले साल भी धान की चोरी परिवहन के दौरान हुई थी। हाल ही में डूंडासिवनी क्षेत्र में 80 क्विंटल से अधिक की धान को खाद्य विभाग की टीम ने जब्त किया था। केंद्र से धान लेकर भंडारण स्थल तक पहुंचने के दौरान धान की चोरी हो जाती है।
शार्टेज वाले प्रमुख केंद्र
केंद्र का नाम मात्रा
प्रगति समूह कुरई 120.79
खुर्सीपार समिति 115.14
खामी समिति 84.22
पांडियाछपारा समिति 83.75
खुर्सीपार छींदा 64.54
घंसौर समिति 60.58
गंगा समूह सिवनी 56.05
वूमंस पावर समूह भोमा 49.96
मां अंबे समूह दूल्हापुर 49.57
पीपरवानी समिति 48.32
(मात्रा-मीट्रिक टन में)
इनका कहना है
जो शार्टेज आया है उसमें समूह और समितियों के कमीशन से राशि काटी जाएगी। इसके लिए जल्द कार्रवाई होगी।
विख्यात डहेलिया, जिला प्रबंधक, नागरिक आपूर्ति निगम