निर्देश: अधूरी सिंचाई परियोजनाओं को पूरा करने नाबार्ड से जुटाएं कर्ज - मुख्यमंत्री

  • 89 परियोजनाओं का काम पूर्ण नहीं
  • अधूरी सिंचाई परियोजनाओं को पूरा करने नाबार्ड से जुटाएं कर्ज

Bhaskar Hindi
Update: 2023-09-21 16:27 GMT

डिजिटल डेस्क, मुंबई. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने प्रदेश के जलसंसाधन विभाग की अधूरी सिंचाई परियोजनाओं का काम पूरा करने के लिए अतिरिक्त निधि जुटाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि नाबार्ड सहित अन्य वित्तीय संस्थाओं के जरिए अतिरिक्त निधि जुटाकर सिंचाई परियोजनाओं का काम सितंबर 2024 तक पूरा किया जाए। गुरूवार को राज्य अतिथिगृह सह्याद्री में मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में अधूरी सिंचाई परियोजनाओं को लेकर बैठक हुई। इसमें 15 हजार करोड़ रुपए का कर्ज जुटाने के बारे में चर्चा हुई। बैठक में उपमुख्यमंत्री अजित पवार,

महाराष्ट्र इंस्टीट्यूशन फॉर ट्रांसफॉर्मेशन के मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रवीण सिंह परदेशी, राज्य के वत्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. नितीन करीर, नाबार्ड के प्रबंध निदेशक शाजी केवी सहित संबंधित विभागों के अफसर मौजूद थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि 50 प्रतिशत से अधिक जमीन अधिग्रहण वाली जिन सिंचाई परियोजनाओं के लिए बजट में प्रावधान नहीं है, ऐसी परियोजनाओं का काम पूरा करने के लिए अतिरिक्त निधि जुटाई जाए। जबकि उपमुख्यमंत्री पवार ने कहा कि महाराष्ट्र सिंचाई आधुनिकीकरण कार्यक्रम के तहत नहरों का काम किया गया तो धन की बजट होगी। साथ ही परियोजनाओं का काम जल्द गति से पूरा हो सकेगा।

89 परियोजनाओं का काम पूर्ण नहीं

राज्य की 89 लघु सिंचाई परियोजनाएं अधूरी हैं। इन परियोजनाओं को पूरा करने के लिए 7 हजार 351 करोड़ रुपए की आवश्यकता है। यदि इन परियोजनाओं का एक साल में पूरा होगा किसानों को राहत मिल सकेगी। जबकि नगर विकास विभाग की नगरोत्थान योजना और अमृत योजना की 144 प्रलंबित परियोजनाओं को पूरा करने के लिए 4 हजार 686 करोड़ रुपए की निधि की जरूरत है। इसके मद्देनजर मुख्यमंत्री ने अतिरिक्त निधि जुटाने के लिए राज्य के वित्त व नियोजन, जलसंसाधन और लाभक्षेत्र विकास विभाग के सचिवों और महाराष्ट्र इंस्टीट्यूशन फॉर ट्रांसफॉर्मेशन को एकत्रित रूप से फैसला लेने का आदेश दिया है।


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