बॉम्बे हाईकोर्ट: एसआरए अधिकारी को धमकी देने वाले झोपड़ा धारकों पर कार्रवाई नहीं करने पर पुलिस को फटकार
अदालत ने झोपड़ी धारकों पर कार्रवाई करने का दिया निर्देश
डिजिटल डेस्क, मुंबई. बॉम्बे हाई कोर्ट ने झोपडपट्टी पुनर्विकास प्राधिकरण (एसआरए) के अधिकारियों को धमकी देने वाले झोपड़ा धारकों पर कार्रवाई नहीं करने पर मुंबई पुलिस को फटकार लगाई। अदालत ने आरोपी झोपड़ी धारकों पर कार्रवाई करने का निर्देश दिया है।
मामले की अगली सुनवाई 14 जून को रखी गई है। न्यायमूर्ति रेवती मोहिते ढेरे और न्यायमूर्ति मंजूषा देशपांडे की खंडपीठ ने गुरुवार को चेंबूर के सिद्धार्थ कॉलोनी घर हक्क समिति की अध्यक्ष मंजीत रणजीत जेठ की ओर से वकील आनंद मिश्रा और वकील सिद्धार्थ सिंह की दायर याचिका पर सुनवाई हुई।
सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के वकील आनंद मिश्रा ने दलील दी कि चेंबूर में के.एन.गायकवाड मार्ग स्थित सिद्धार्थ कालोनी का एसआरए के तहत विकास का कार्य चल रहा है। सिद्धार्थ कालोनी घर हक्क समिति के तहत हो रहे कालोनी के विकास कार्य में कुछ लोग रुकावट डालने का काम कर रहे हैं। कालोनी में रही रहने वाले लहू कांबले समेत कुछ लोगों ने एलओआई का विरोध किया है।
आरोप है कि कांबले ने एजीआरसी से अंतरिम आदेश नहीं मिलने के कारण एसआरए के सीईओ सतीश लोखंडे को धमकी दी। इसकी शिकायत चेंबूर पुलिस स्टेशन में की गई, लेकिन पुलिस ने धमकी देने वालों पर कार्रवाई नहीं की। याचिका में एसआरए के सीईओ और सिद्धार्थ कालोनी घर हक्क समिति के डेवलपर को धमकी देने वालों के खिलाफ कार्रवाई का अनुरोध किया गया है। खंडपीठ ने समिति की याचिका पर चेंबूर पुलिस को कार्रवाई करने का निर्देश दिया है।