कांग्रेस ताकतवर सीटों पर लड़ने के पक्ष में लोकसभा चुनाव
- साल 2014 और 2019 में कांग्रेस का परंपरागत वोट बैंक खिसक गया था- पृथ्वीराज चव्हाण
- ताकतवर सीटों पर लड़ने के पक्ष में लोकसभा चुनाव
डिजिटल डेस्क, मुंबई, सोमदत्त शर्मा। कर्नाटक विधानसभा चुनाव में मिली जीत के बाद कांग्रेस ने राज्य में लोकसभा की सभी 48 सीटों पर तैयारी शुरु कर दी है। शुक्रवार को मुंबई में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले की अध्यक्षता में दो दिवसीय बैठक की शुरुआत हुई। बैठक में पहले दिन राज्य के 24 जिलों की कांग्रेस की तैयारियों का जायजा लिया गया। इस बैठक के बाद प्रदेश कांग्रेस संसदीय दल की बैठक होगी, जिसमें कांग्रेस कितनी सीटों पर ताकतवर है, उसका जायजा लिया जाएगा। इसके बाद कांग्रेस के बड़े नेता उन क्षेत्रों में जाएंगे, जहां पर कांग्रेस की ताकत ज्यादा है और जहां से कांग्रेस चुनाव लड़ सकती है। पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने कहा कि साल 2014 और 2019 में कांग्रेस का परंपरागत वोट बैंक खिसक गया था, जिसके चलते कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा था।
चव्हाण ने कहा कि 24 जिलों के नेताओं के साथ शुक्रवार को चर्चा की गई। वहां के सभी कार्यकर्ता और नेता महाविकास आघाडी के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ने के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि अभी इस बैठक में सिर्फ पार्टी के संगठन की मजबूती पर चर्चा की गई है, इस बैठक में सीटों के बंटवारे पर कोई चर्चा नहीं की गई।
कांग्रेस ने जमीनी स्तर से काम करना शुरु किया- नाना पटोले
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि कांग्रेस की इस बैठक में प्रत्येक जिले से संबंधित कांग्रेस के नेताओं से चर्चा की गई और उनसे उस जिले की समस्याओं के बारे में भी पूछा गया। पटोले ने बताया कि ज्यादातर जिलों से कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने बताया है कि किसानों में बहुत आक्रोश है। कांग्रेस आलाकमान राज्य की सभी 48 सीटों की वास्तविक स्थिति जानना चाहता है। उन्होंने कहा कि शनिवार को भी कांग्रेस की यह बैठक जारी रहेगी।
वर्धा से आघाडी के उम्मीदवार को जिताएंगे - मनोज चांदूरकर
वर्धा कांग्रेस जिला अध्यक्ष मनोज चांदूरकर ने बताया कि वर्धा जिले का हर कांग्रेस कार्यकर्ता भाजपा को हराने के लिए राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) और शिवसेना (उद्धव गुट) के साथ खड़ा हुआ है। उन्होंने कहा कि अगर वर्धा से कांग्रेस के उम्मीदवार को लोकसभा चुनाव में टिकट नहीं भी मिलता है, तो फिर कांग्रेस अपनी पूरी ताकत आघाडी के उम्मीदवार को जिताने में लगाएगी।
पालघर सीट कांग्रेस को नहीं मिलने से फैलेगा असंतोष- मोइज शेख
पालघर के जिला कांग्रेस उपाध्यक्ष मोइज शेख ने बताया कि पालघर की सीट परंपरागत तौर पर कांग्रेस की सीट रही है। यहां से कांग्रेस ने दामोदर बारकू शिंगडा को 9 बार लोकसभा का टिकट दिया था, जिसमें से वह 5 बार जीते। उन्होंने बैठक में प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले से बातचीत के दौरान पालघर की सीट मुद्दा उठाया। शेख ने बताया कि पालघर जिला कांग्रेस की बैठक में यह प्रस्ताव पहले ही पास कर दिया गया है कि पालघर लोकसभा का चुनाव कांग्रेस के उम्मीदवार के नेतृत्व में ही लड़ा जाएगा। उन्होंने कहा कि अगर कांग्रेस उम्मीदवार को पालघर सीट नहीं मिली तो कांग्रेस कार्यकर्ताओं में असंतोष फैल सकता है।
18 सीटों से कम का मतलब ही नहीं- संजय राऊत
शिवसेना (उद्धव गुट) सांसद और प्रवक्ता संजय राऊत ने फिर से 18 सीटों पर पार्टी द्वारा चुनाव लड़ने का अलाप रागा है। राऊत ने कांग्रेस की बैठक के दौरान फिर से बयान दिया है कि शिवसेना ने पिछले चुनाव में 18 सीटें लोकसभा चुनाव में जीतीं थीं। लिहाजा इससे कम सीटों पर चुनाव लड़ने का कोई मतलब ही नहीं है। राऊत इससे पहले भी यह बयान दे चुके हैं, जिस पर कांग्रेस भी अपना रुख बता चुकी है।