अदालत: 2018 में निवेशकों के साथ धोखाधड़ी को लेकर बॉम्बे हाईकोर्ट सख्त

  • कोल्हापुर पुलिस को सभी आरोपियों को गिरफ्तार करने का दिया निर्देश
  • धोखाधड़ी को लेकर सख्त

Bhaskar Hindi
Update: 2023-12-29 14:22 GMT

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बॉम्बे हाईकोर्ट ने साल 2018 में निवेशकों से धोखाधड़ी के एक मामले में सख्त रूख अपनाया है। अदालत ने इस मामले को गंभीर अपराध मानते हुए कोल्हापुर पुलिस को सभी आरोपियों को गिरफ्तार करने का निर्देश दिया है। आरोप है कि मेकर ग्रुप ऑफ इंडिया नामक कंपनी के संचालकों ने 93 निवेशों के साथ 56 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी की है।न्यायमूर्ति जी.ए.सनप की एकलपीठ ने वकील सत्यव्रत जोशी की ओर से आरोपी भास्कर लिंबकर की दायर जमानत याचिका पर कहा कि ऐसे गंभीर अपराध में हर तरह से जांच पूरी करना जांच अधिकारी का कर्तव्य था. जांच अधिकारी से यह अपेक्षा थी कि वह सभी आरोपियों को गिरफ्तार करेंगे। ऐसे गंभीर अपराध की जांच की निगरानी करना कोल्हापुर के पुलिस अधीक्षक का कर्तव्य है। पीठ ने कहा कि मेरे विचार से यदि कदम उठाए गए होते, तो यह स्थिति उत्पन्न नहीं होती। जिन निवेशकों को आरोपियों ने धोखाधड़ी का शिकार बनाया, उन्हें न्याय की गुहार लगानी पड़ रही है।

अदालत ने कहा कि कोल्हापुर के पुलिस अधीक्षक सभी आरोपियों को गिरफ्तार करने के लिए ठोस कदम उठाएंगे। इसके अलावा यह भी देखेंगे कि जो जांच अधिकारी इस गड़बड़ी के लिए जिम्मेदार हैं, उनसे भी पूछताछ की जानी चाहिए।

अदालत ने पाया कि मामला 2018 में दर्ज किया गया था। पुलिस ने शुरुआत में केवल तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था, जिनमें से दो जमानत पाने में कामयाब रहे। इसके बाद इस महीने की शुरुआत में अदालत की पुलिस को कड़ी फटकार के बाद चार और गिरफ्तारियां की गईं थी। अगर इतनी गंभीरता पहले दिखाई गई होती, तो अब तक सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया होता।

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