जबलपुर: कलेक्टर न्यायालय ने दो आँगनबाड़ी कार्यकर्ता की नियुक्ति को बताया वैध

  • आपत्ति में कहा गया कि वोटर लिस्ट में नाम नहीं, बीपीएल कार्ड पर भी उठी थी उंगली
  • अन्य आवेदिकाओं ने आपत्ति दर्ज कराई थी उनकी दलीलों को खारिज कर दिया गया।
  • आँगनबाड़ी कार्यकर्ता के पद की नियुक्ति के लिए 26 सितम्बर 2022 से 14 अक्टूबर 2022 तक आवेदन बुलाए गए थे।

Bhaskar Hindi
Update: 2024-05-17 12:02 GMT

डिजिटल डेस्क,जबलपुर। दो आँगनबाड़ी महिला कार्यकर्ताओं की नियुक्ति पर सवाल उठाते हुए अन्य आवेदिकाओं ने आपत्ति दर्ज की थी। इन आपत्तियों की सुनवाई कलेक्टर न्यायालय में विधिवत कराई गई।

कई सुनवाई के बाद आखिरकार दोनों नियुक्तियों को बरकरार रखा गया और जिन अन्य आवेदिकाओं ने आपत्ति दर्ज कराई थी उनकी दलीलों को खारिज कर दिया गया। अनावेदकों ने यहाँ तक तर्क दिए थे कि जिनकी नियुक्ति हुई है उनका नाम वोटर लिस्ट में नहीं है, तो एक का बीपीएल कार्ड तक गलत तरीके से बना हुआ बताया गया था, किन्तु जाँच और सुनवाई में आपत्तियाँ गलत साबित हुईं।

आँगनबाड़ी केन्द्र चंदवा ग्राव पंचायत धनेटा में आँगनबाड़ी कार्यकर्ता के पद की नियुक्ति के लिए 26 सितम्बर 2022 से 14 अक्टूबर 2022 तक आवेदन बुलाए गए थे। इसके तहत कुल 4 आवेदन प्राप्त हुए थे। आवेदन पत्रों की छानबीन और अवलोकन के बाद नेहा पति हरिप्रसाद अहिरवार को अनंतिम रूप से चयनित किया गया।

इसके बाद आपत्तियाँ बुलाईं गईं तो रोशनी चड़ार द्वारा आपत्ति दर्ज कराते हुए कहा गया कि नेहा का नाम ग्राम चंदवा की वोटर लिस्ट में नहीं है तथा उनके दस्तावेजों का सत्यापन भी कराया जाए। प्राथमिक जाँच में पता चला कि नेहा के पति हरिप्रसाद का नाम मतदाता सूची में भी है और नेहा के ससुर कोड़ीलाल की समग्र आईडी में उसका नाम दर्ज है, जिससे वह बीपीएल की पात्रता भी रखती है। इस मामले की सुनवाई में जिला दंडाधिकारी दीपक सक्सेना ने कहा कि नेहा के पति का नाम सभी दस्तावेजों में हैं इसलिए आपत्ति खारिज की जाती है।

जिन्होंने आपत्ति दर्ज की वे ही पात्र नहीं थीं

दूसरे मामले में आँगनबाड़ी केन्द्र करारी ग्राम पंचायत करारी में 24 मार्च 2023 से 17 अप्रैल 2023 तक आँगनबाड़ी कार्यकर्ता के लिए आवेदन बुलाए गए थे। इसमें कुल 9 आवेदन प्राप्त हुए थे जिनमें से श्रीमती अन्नू बर्मन पति प्रदीप बर्मन को चयनित किया गया था।

चयन के खिलाफ हेमलता लोधी, रानू चौधरी और रोशनी गोंड ने आपत्ति दर्ज कराते हुए कहा था कि अन्नू बर्मन सम्पन्न परिवार की महिला है, इनका बीपीएल कार्ड गलत तरीके से बना है जिसका सत्यापन कराया जाए।

इन आपत्तियों की जब जाँच एसडीएम द्वारा कराई गई तो मामला उलटा पड़ गया। आपत्तिकर्ता हेमलता, रानू और रोशनी गोंड को बीपीएल के 10 नम्बर इसलिए नहीं मिले क्योंकि वे इसकी पात्रता ही नहीं रखती थीं। जबकि अन्नू को नियमानुसार पात्रता के तहत नम्बर दिए गए। इस आधार पर कलेक्टर न्यायालय ने सभी की आपत्तियाँ खारिज करते हुए अन्नू बर्मन के चयन को सही साबित करार दिया।

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