शासकीय माध्यमिक शाला गहरा, शौंचालय बना कबाड़, जल जीवन मिशन की पेय जल व्यवस्था बनीं शोपीस

Government secondary school deep, toilet became junk
शासकीय माध्यमिक शाला गहरा, शौंचालय बना कबाड़, जल जीवन मिशन की पेय जल व्यवस्था बनीं शोपीस
बृजपुर शासकीय माध्यमिक शाला गहरा, शौंचालय बना कबाड़, जल जीवन मिशन की पेय जल व्यवस्था बनीं शोपीस

डिजिटल डेस्क बृजपुर नि.प्र.। जिले में सरकारी स्कूलों में बच्चो की बुनियादी व्यवस्थाओं के लिए भले ही सरकार की ओर से लाखों रूपये खर्च किये जा रहे हो किन्तु भारीभरकम राशि खर्च करने के बाद विद्यार्थियो के लिए जो व्यवस्थायें बनाई गई हैं उनके रखरखाव के प्रबंध नहीं होने तथा कार्यों की गुणवत्ता खराब होने की वजह से अनुपायोगी साबित हो रहे है। बृजपुर जन शिक्षा केन्द्र के अंतर्गत आने वाले शासकीय माध्यमिक शाला गहरा के विद्यार्थी इन्ही कारणो की वजह से बुनियादी सुविधाओ से बंचित है शासकीय माध्यमिक शाला गहरा में पढऩे वाले छात्र-छात्राओ की शौचालय की व्यवस्था के लिए विद्यालय के पीछे छात्र तथा छात्राओ के लिए कुृछ वर्ष पूर्व पृथक-पृथक टायलेट बनाये गये थे। ग्राम पंचायत द्वारा इन टायलटो का निर्माण कार्य लगभग ०२ लाख ४० हजार रूपये की लागत से दोनो टायलटो का निर्माण कार्य कराया गया था। निर्मित दोनो टायलटो की वर्तमान स्थिति हो गई है कि टायलेट पहँुचने के लिए स्कूल के पीछे जो जगह स्थित है वह पूरा रास्ता बड़े-बडे कटीले झाड़-झंकड़ो  से भरा हुआ है।

इन झाड़-झंकड़ो की वजह से न तो छात्र-छात्राये और न ही शिक्षक शौचालय का उपयोग कर पा रहे है। शौचालय के दरवाजे भी टूटकर खराब हो चुके है और शौचालय का अंदरूनी हिस्सा भी कबाड़ में बदल चुका है। स्कूल के विद्यार्थियो के उपयोग के लिए बनाये गये शौचालय पूरी तरह से अनुपयोगी है और इसके चलते बच्चो और शिक्षको को परेशानी का सामना करना पडा रहा है। शौचालय की स्थिति को लेेकर विद्यालय के शिक्षको से बातचीत की गई तो उन्होने बताया कि स्कूल में न तो साफ-सफाई के लिए कोई फण्ड है और न ही शौचालय की मरम्मत के लिए कोई राशि है।। माध्यमिक शाला गहरा में बच्चो के लिए लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के द्वारा जल जीवन मिशन योजना के अंतर्गत शुद्ध पेय जल उपलब्धता के लिए जो नल जल योजना का कार्य करवाया गया है पुराने हैण्ड पंप के बोर में मोटर डाली गई है तथा फिटिंग का कार्य के लिए पाइप विद्यालय की में लगाई टंकी तक पहँुचाते हुए पानी की सप्लाई के लिए नीचे पाइप डालकर तीन टोटियां लगाई गई है। शौचालयो तक पाइप लाइन भी नही डाली गई है और इसके बाद ठेकेदार कार्य पूर्ण बता करके चला गया है। विद्यालय में की गई पानी की व्यवस्था की स्थिति यह है कि जिस बोर में मोटर डाली गई है उसमें पानी भी नही है और इसकी वजह से जो व्यवस्था बनाई गई वह पूरी तरह से ठप्प पडी हुई है स्थानीय लोगो ने बताया कि जिस पुराने नल के बोर मेंं मोटर डालकर सप्लाई की व्यवस्था बनाई गई उसकी स्थिति उसी समय यह है रही कि जो थोडा बहुत पानी निकला वह मटमैला लाल पानी है जिसका उपयोग भी पीन के लिए नही हो सकता है। ठेकेदार द्वारा जो काम किया गया वह भी गुणवत्ता विहीन है और योजना नल जल से व्यवस्था बनने के साथ ठप्प पडी हुई है 

परिसर से हैण्डपम्प का पानी भी खराब

जल जीवन मिशन के कार्य के अलावा माधमिक शााल गहरा के परिसर में एक पुरान हैण्ड पंप है जो कि चालू हालत में है किन्तु उस हैण्ड पंप से मटमैला लाल रंग का पानी निकलता है। जिसका उपयोग भी पीने के लिए नही होता इसके चलते पानी की व्यवस्था स्कूल से बाहर समीप स्थित पंचायत भवन की उपलब्ध पानी की व्यवस्था से करना पडा रहा है। 
प्राथमिक और माध्यमिक खण्ड मिलाकर विद्यालय में मात्र एक नियमित शिक्षक  जहां नगरीय क्षेत्रो के आसपास के विद्यालयो में अतिशेष शिक्षक पदस्थ है वही दूरस्थ क्षेत्रो में शिक्षको की पदस्थापना को लेकर गई गुजरी स्थिति है माध्यमिक शाला गहरा जिसमें कक्षा ०१ से ०८ तक प्राथामिक एवं माध्यमिक खण्ड एक साथ संचालित हो रहा है विद्यालय में नियमानुसार प्राथामिक खण्ड के न्यूनतम दो शिक्षक तथा माध्यमिक खण्ड में तीन शिक्षक पदस्थ होने चाहिए किन्तु प्राथामिक एवं माध्यमिक खण्ड को मिलाकर नियमित रूप से एक शिक्षक ही पदस्थ है और विद्यालय की पठन-पाठन व्यवस्था इसके चलते अतिथि शिक्षको पर निर्भर है। शैक्षणिक व्यवस्था के लिए ०४ अतिथि शिक्षक विद्यालय में रखे गये जिनमें एकअतिथि  शिक्षक ने दूसरी जगह चले गये है और तीन अतिथि शिक्षक ही कार्य कर रहे है। शिक्षको की उपस्थिति को लेकर भी विद्यालय के सदंर्भ में पता चली है कि विद्यालय प्रारंभ होने के निर्धारित समय से पौन से एक घन्टा तक विलंब कर शिक्षक विद्यालय में पहँुचते है जिससे विद्यालय की पठन-पाठन व्यवस्था भी सुचारू रूप से नही चल रही है।

Created On :   18 Oct 2022 3:16 PM IST

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