प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यह फैसला बहुत पहले कर लिया होता तो कई लोगों की जान बचाई जा सकती थी : सीएम चन्नी

Decision to repeal agriculture laws was delayed too much: Punjab CM
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यह फैसला बहुत पहले कर लिया होता तो कई लोगों की जान बचाई जा सकती थी : सीएम चन्नी
कृषि कानूनों पर सीएम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यह फैसला बहुत पहले कर लिया होता तो कई लोगों की जान बचाई जा सकती थी : सीएम चन्नी

डिजिटल डेस्क, चंडीगढ़। पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने शुक्रवार को केंद्र के तीन कृषि कानूनों को रद्द करने के फैसले को बहुत देरी से लेकिन एक स्वागत योग्य कदम बताया। हालांकि चन्नी ने कहा कि अगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यह फैसला बहुत पहले कर लिया होता तो कई लोगों की जान बचाई जा सकती थी। किसानों को विश्वास में लिए बिना इन कृषि कानूनों को मनमाने ढंग से थोपने के लिए केंद्र पर आरोप लगाते हुए, उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार को इन बिलों को लाने में अपनी गलती को स्वीकार करना चाहिए। उन्हें किसी की परवाह नहीं थी।

विशेष रूप से, दिल्ली की सीमाओं और राज्य भर में किसानों के आंदोलन ने अब तक अपनी आजीविका और अपनी पीढ़ियों के भविष्य को सुरक्षित करने के लिए अपने अधिकारों की रक्षा के लिए अद्वितीय संघर्ष के दौरान सैकड़ों जीवन दाव पर लगाए हैं। चन्नी ने कहा कि संघर्ष के दौरान हुई लखीमपुर खीरी जैसी घटनाओं ने लोकतंत्र के नाम पर कलंक लगाया है और जनता भाजपा सरकार को उसके कुकर्मों के लिए कभी माफ नहीं करेगी। उन्होंने कहा कि अब जब प्रधानमंत्री ने इन कठोर कृषि कानूनों को वापस लेने की घोषणा की, तो उन्हें किसानों को उनके द्वारा किए गए जीवन और संपत्ति के भारी नुकसान के लिए पर्याप्त रूप से मुआवजा देना चाहिए। इसी तरह, उन्होंने किसान मोर्चा के दौरान राज्य में हुए वित्तीय और संपत्ति के नुकसान के लिए मुआवजे की भी मांग की।

हालांकि, उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पहले ही किसानों के पीड़ित परिवारों को सरकारी नौकरी प्रदान कर चुकी है, साथ ही किसान आंदोलन में बलिदान देने वाले मृतक किसान के प्रत्येक परिवार को 5 लाख रुपये की वित्तीय सहायता प्रदान कर चुकी है। चन्नी ने प्रधानमंत्री से कर्ज के भारी बोझ से दबे किसानों और मजदूरों को राहत देने के लिए तत्काल वित्तीय पैकेज की घोषणा करने को भी कहा। उन्होंने केंद्र से न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) और किसानों की फसलों की सार्वजनिक खरीद पर अपना रुख स्पष्ट करने को भी कहा। इसे लोगों की जीत बताते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों को केंद्र सरकार को झुकाने के लिए मौसम की अनिश्चितताओं सहित कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ा है।

उन्होंने कहा कि हालांकि केंद्र सरकार ने किसानों को परेशान करने, अपमानित करने और हतोत्साहित करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। वहीं किसानों ने अपना संघर्ष लगातार जारी रखा। चन्नी ने कहा कि यह निर्णय किसानों के लंबे और जोशीले संघर्ष का परिणाम है और इसे इतिहास के पन्नों में सुनहरे शब्दों में लिखा जाएगा। चन्नी ने कहा कि अकाली-भाजपा और यहां तक कि अमरिंदर सिंह के गठजोड़ ने भी कृषि आंदोलन को कमजोर करने की पूरी कोशिश की लेकिन अंत में यह बुराई पर अच्छाई की जीत है।

(आईएएनएस)

Created On :   19 Nov 2021 5:00 PM IST

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