सिद्धारमैया के मांसाहारी भोजन के बाद मंदिर पर प्रवेश मामले में भाजपा का निशाना, हिंदू कार्यकर्ता बोले, इसमें कुछ गलत नहीं

BJPs target in the temple entry case after Siddaramaiahs non-vegetarian meal, Hindu activists said, nothing wrong in this
सिद्धारमैया के मांसाहारी भोजन के बाद मंदिर पर प्रवेश मामले में भाजपा का निशाना, हिंदू कार्यकर्ता बोले, इसमें कुछ गलत नहीं
कर्नाटक सियासत सिद्धारमैया के मांसाहारी भोजन के बाद मंदिर पर प्रवेश मामले में भाजपा का निशाना, हिंदू कार्यकर्ता बोले, इसमें कुछ गलत नहीं

डिजिटल डेस्क, बेंगलुरु। कर्नाटक में सत्तारूढ़ भाजपा ने कोडागु के एक मंदिर में मांसाहारी भोजन करने के बाद कथित तौर पर प्रवेश करने के लिए विपक्षी नेता सिद्धारमैया पर अपना हमला जारी रखा है। हालांकि, हिंदू कार्यकर्ताओं ने भगवा पार्टी की आलोचना करते हुए कहा कि इसमें कुछ भी गलत नहीं है। श्री राम सेना के संस्थापक प्रमोद मुथालिक ने सोमवार को कहा, मांसाहारी खाने और मंदिरों में जाने में कुछ भी गलत नहीं है। भाजपा नेताओं को ऐसे मुद्दों को उठाने के बजाय वीर सावरकर पर चर्चा करनी चाहिए। उन्होंने कहा, बड़ी संख्या में हिंदू मांसाहारी भोजन करते हैं। मांस भगवान को प्रसाद के रूप में चढ़ाया जाता है। इसमें कुछ भी गलत नहीं है और यह चर्चा का विषय नहीं है।

भाजपा सांसद प्रताप सिम्हा ने कहा कि उन्होंने देखा था कि 2017 में दशहरा उत्सव के उद्घाटन से पहले और देवी चामुंडेश्वरी को पुष्पांजलि अर्पित करने से पहले सिद्धारमैया ने चिकन खाया था। इसके बाद, सिद्धारमैया को उत्सव का उद्घाटन करने का अवसर नहीं मिला। इस बीच, भाजपा विधायक बसवनगौड़ा पाटिल यतनाल ने सिद्धारमैया को चुनौती दी थी कि वह इस्लाम में निषिद्ध कुछ भी खाकर मस्जिद में प्रवेश करें। हम तब आपकी वास्तविक शक्ति को जान पाएंगे।

उन्होंने जोर दिया, हर मंदिर के लिए एक निश्चित परंपरा का पालन किया जाता है। कुछ जगहों पर, कोई मांसाहारी खाने के बाद नहीं जा सकता है। यहां तक कि कुछ जगहों पर मंदिरों में प्रवेश करने से पहले बनियान, शर्ट उतारने की परंपरा है। सिद्धारमैया हों या कोई अन्य व्यक्ति, किसी को भी धार्मिक भावनाओं को ठेस नहीं पहुंचानी चाहिए।

इसी प्रकार, बी.वाई. भाजपा उपाध्यक्ष विजयेंद्र ने कहा कि सभी को वेज और नॉन वेज खाने की आजादी है। उन्होंने कहा, लेकिन, अगर कोई मांस खाकर मंदिर जाना चाहता है तो कोई भी इसके लिए राजी नहीं होगा। विजयेंद्र ने कहा, राज्य में धर्म की विरासत है और बड़ी संख्या में भक्त भी हैं, इसलिए शीर्ष पदों पर रहने वालों को इस संबंध में सार्वजनिक बयान देते समय सावधान रहना चाहिए।

(आईएएनएस)

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Created On :   22 Aug 2022 7:00 PM IST

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