SC ने स्वीकारा केंद्र का प्रस्ताव, दिल्ली में उसी जगह बनेगा संत रविदास का मंदिर

SC agrees to Centre’s land offer for construction of Ravidas temple in Delhi
SC ने स्वीकारा केंद्र का प्रस्ताव, दिल्ली में उसी जगह बनेगा संत रविदास का मंदिर
SC ने स्वीकारा केंद्र का प्रस्ताव, दिल्ली में उसी जगह बनेगा संत रविदास का मंदिर

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को केंद्र के प्रस्ताव को स्वीकार करते हुए दक्षिणी दिल्ली में गुरु रविदास मंदिर के निर्माण की मंजूरी दे दी है। केंद्र ने रविदास मंदिर के निर्माण के लिए उसी स्थान पर भूमि देने की पेशकश की थी जहां पर वह पहले से मौजूद था। निर्माण के लिए केंद्र को छह सप्ताह के भीतर एक समिति गठित करने का आदेश देते हुए, बेंच ने मंदिर के जमीन और उसके आसपास के क्षेत्र में किसी भी व्यावसायिक गतिविधि पर रोक लगा दी।

केंद्र सरकार की तरफ से अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने संत रविदास के मंदिर का पक्का निर्माण करने को लेकर कहा कि यह मंदिर जंगल के इलाके में है इसलिए यहां पक्का निर्माण करना सही नही होगा। सरकार लोगों की आस्था को देखते हुए जमीन दे रही है लेकिन यहां लकड़ी का ही मंदिर बनाया जा सकता है। इसपर कोर्ट ने कहा कि अगर सरकार जमीन दे रही है तो मंदिर के लिए पक्के निर्माण पर रोक कैसे लगाई जा सकती है?

अटॉर्नी जनरल ने कोर्ट से कहा कि मन्दिर की आड़ में लोगों ने जंगल क्षेत्र में बड़ी जगह घेर रखी थी। लोग यहां ट्रक पार्क करते थे। इस पर कोर्ट ने कहा कि हमारा आदेश इस जमीन का किसी भी तरह के व्यावसायिक इस्तेमाल को रोकेगा। हम चाहते हैं कि मंदिर के देखभाल के लिए एक कमेटी का गठन हो और इस कमेटी का गठन केंद्र सरकार खुद करे।

पिछली सुनवाई के दौरान, अटॉर्नी जनरल के के वेणुगोपाल ने प्रस्ताव पेश किया था और मंदिर निर्माण के लिए 200 वर्ग मीटर जमीन उसी जगह पर देने की पेशकश की थी, जहां वह पहले से मौजूद था। हालांकि बाद में प्रस्ताव को 400 वर्ग मीटर भूमि में संशोधित कर दिया गया। सुप्रीम कोर्ट को सौंपे गए समझौते के ज्ञापन के अनुसार, पूजा वाले क्षेत्र को एक बाउंड्री से घेरा जाएगा और प्रवेश के लिए एक द्वार होगा। इसमें कहा गया है कि सीमा के बाहर किसी भी तरह का अतिक्रमण नहीं होने दिया जाएगा।

बता दें कि दिल्ली विकास प्राधिकरण ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद मंदिर को ध्वस्त कर दिया गया था, जिसके कारण दिल्ली, पंजाब और हरियाणा में कई विरोध प्रदर्शन हुए थे। 

Created On :   21 Oct 2019 4:51 PM IST

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