बारिश बनी आफत: अयोध्या में पहली बारिश ने खोली विकास कार्यों की पोल, रामपथ से लेकर कई जगहों की सड़क धंसी, तीन अधिकारी सस्पेंड
- अयोध्या में खुली नगरीय कार्यों की पोल
- शहर में पहली बारिश के बाद सड़कों पर पड़े गड्ढे
- रामपथ से लेकर कई बड़े प्रोजेक्ट शामिल
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। उत्तरप्रदेश के अयोध्या में शुक्रवार को मानसून के दस्तक देने के बाद शहर में विकास कार्यों की पोल खुल गई। रामलला के भव्य मंदिर तक जाने वाला रामपथ बारिश की वजह से कई जगहों से जमीन के अंदर धंस गया है। सड़क के ज्यादातर हिस्सों पर बड़े गड्ढे भी पड़ गए हैं। जिसके चलते शहर की सड़कों की दुर्दशा का सारा जिम्मा प्रशासन और अफसरों पर आ गया है। जिसके बाद इस प्रोजेक्ट से जुड़े एग्जीक्यूटिव इंजीनियर, एई और जेई को सस्पेंड कर दिया गया है।
रामपथ समेत कई जगहों की खुली पोल
अयोध्या के राम मंदिर के रामपथ समेत कई जगहों के कार्यों में भ्रष्टाचार के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ठोस कदम उठाए हैं। प्रोजेक्ट में शामिल एग्जीक्यूटिव इंजीनिय ध्रुव अग्रवाल, असिस्टेंट इंजीनियर अनुज देशवाल और जूनियर इंजनीयिर प्रभात पांडे को सस्पेंड किया गया है। इस मामले में जांच के आदेश जारी कर एक रिपोर्ट मांगी गई है। शहर के नगरीय कार्यों में लापरवाही और भ्रष्टाचार करने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
अयोध्या में कुछ महीने पहले ही भव्य राम मंदिर का उद्धाटन हुआ था। हालांकि, इससे पहले रामपथ का निर्माण और उद्धाटन किया गया था। इस पथ को बड़ी संख्या में राम मंदिर पहुंचने वाले श्रद्धालुओं के लिए बनाया गया था। जिससे उन्हें किसी भी तरह की दिक्कत का सामना न करना पड़ा। हालांकि, शहर में शुक्रवार को मानसून की पहली बारिश ने नगरीय कार्यों की धज्जियां उड़ा दी। रामपथ पर सहादगंज से लेकर नया घाट तक 13 किमी लंबी सड़क के कई जगहों पर गड्ढे पड़ गए हैं।
राज्य सरकार पर विपक्ष हमलावर
जब प्रशासन को रामपथ धंसने की सूचना मिली तब प्रशासन ने जल्दबाजी में गड्ढों को भर तो दिया। मगर, उससे पहले सोशल मीडिया पर वीडियो सामने आने लगे। इसके बाद अयोध्या में निर्माण कार्यों की पोल खुलने पर राज्य सरकार को घेरा जा रहा है। इसके अलावा विपक्ष भी सरकार पर निशाना चूंकने से पीछे नहीं हट रहा है। ऐसे में सरकार पर भ्रष्टाचार करने का आरोप लगाया जा रहा है।