अगले 5 साल में इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट पर 102 लाख करोड़ का खर्च करेगी केंद्र सरकार: सीतारमण
अगले 5 साल में इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट पर 102 लाख करोड़ का खर्च करेगी केंद्र सरकार: सीतारमण
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। देश की डगमगाती अर्थव्यवस्था को सुधारने के लिए केंद्र सरकार अगले पांच साल में इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट पर 102 लाख करोड़ का खर्च करेगी। साल के आखिरी दिन मंगलवार को केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने इसकी घोषणा की। इस बारे में मंगलवार को टास्क फोर्स की रिपोर्ट भी जारी की गई है। सरकार को उम्मीद है कि इससे वह अपने पांच ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था के लक्ष्य को पूरा कर सकती है।
#WATCH Finance Minister Nirmala Sitharaman addresses media in Delhi. https://t.co/pMIZHtHFPy
— ANI (@ANI) December 31, 2019
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस साल स्वतंत्रता दिवस के मौके पर भाषण में कहा था कि अगले 5 साल में देश के बुनियादी ढांचा क्षेत्र में 100 लाख करोड़ रुपए का निवेश किया जाएगा।
वित्तमंत्री ने पत्रकारों से चर्चा में बताया कि इनमें से ज्यादातर प्रोजेक्ट पावर, हेल्थ, रेलवे, शहरी, सिंचाई, डिजिटल आदि सेक्टर से जुड़े होंगे। उन्होंने आगे कहा कि टास्क फोर्स ने पिछले चार महीने में 70 स्टेकहोल्डर की राय लेने के लिए कुल 70 बैठकें की हैं। उन्होंने यह भी ऐलान किया कि देश में पहली बार एक नेशनल इन्फ्रास्ट्रक्चर पाइपलाइन (NIP) कोऑर्डिनेशन मेकैनिज्म की शुरुआत की जाएगी। नए पाइपलाइन में केंद्र व राज्यों के 39 फीसदी प्रोजेक्ट होंगे और बाकी के 22 फीसदी निजी क्षेत्र के होंगे। जिन सेक्टर्स में यह प्रोजेक्ट होंगे, उनमें बिजली, रेलवे, शहरी सिंचाई, मोबिलिटी, शिक्षा और स्वास्थ्य से जुड़े होंगे।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को एक प्रेस कांफ्रेस की घोषणा करते हुए कहा है कि प्रधानमंत्री ने लाल किले से अपने भाषण में 100 लाख करोड़ रुपये का इंफ्रास्ट्रक्चर पर निवेश करने की घोषणा की थी। इसके बाद एक टास्क फोर्स का गठन किया गया था।
इस टास्क फोर्स ने 102 लाख करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट निकाले हैं, जिसके लिए 70 स्टॉक होल्डर्स से बातचीत की गई थी। इस पाइप लाइन में तीन लाख करोड़ रुपए के अन्य प्रोजेक्ट भी शामिल किए जाएंगे। यह प्रोजेक्ट 51 लाख करोड़ रुपए के पहले से चल रहे प्रोजेक्ट से अलग हैं, जो पिछले छह सालों से केंंद्र व राज्य सरकार द्वारा चलाए जा रहे थे।
टास्क फोर्स का किया था गठन
इस पाइपलाइन के निर्माण के लिए सीतारमण ने एक टास्क फोर्स का गठन किया था। इसके अलावा एक सिंगल विंडो सिस्टम कारोबारियों के लिए बनाया जाएगा, ताकि केंद्र और राज्य सरकारों से उन्हें एक ही जगह सारी मंजूरी मिल जाए। यह सिंगल विंडो सिस्टम चार चरणों में पूरा होगा।
प्रोजेक्ट में निवेश के लिए सिंगल ऑनलाइन फॉर्म
प्रोजेक्ट में निवेश के लिए एक सिंगल ऑनलाइन फॉर्म को भी शुरू करने का एलान किया जासकता है। सिंगल विंडो सिस्टम में केंद्र से मंजूरी मिलने की समय सीमा पहले से तय होगी। यह सिंगल विंडो सैल 21 राज्यों में होगी। प्रत्येक मंत्रालय और राज्य में बात करने के लिए दो लोगों को नियुक्त किया जाएगा। इसके अलावा वित्त मंत्री ने कहा कि 2020 की दूसरी छमाही में एक वैश्विक बिजनेस मीट का आयोजन भी सरकार की तरफ से किया जाएगा।