Nirbhaya Gang Rape: जेल प्रशासन ने दोषियों से पूछी अंतिम इच्छा, कल फांसी होना तय
Nirbhaya Gang Rape: जेल प्रशासन ने दोषियों से पूछी अंतिम इच्छा, कल फांसी होना तय
- जेल प्रशासन ने पूरी की फांसी की तैयारी
- दोषियों को फांसी वाली सेल में शिफ्ट किया
- पोस्टमॉर्टम का इंतजाम भी पक्का
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। निर्भया गैंगरेप और हत्या के मामले में दोषियों को कल फांसी दी जानी है, लेकिन दोषियों ने जेल प्रशासन को अब तक अपनी अंतिम इच्छा नहीं बताई है और न ही कोई वसीयत तैयार की है। ऐसे में बुधवार को जेल प्रशासन ने नोटिस जारी कर दोषियों से कई सवाल पूछे हैं। इसमें दोषियों से अंतिम इच्छा पूछने के साथ आखिरी मुलाकात करने वाले व्यक्ति और प्रॉपर्टी या बैंक खाते में कोई रकम को किस व्यक्ति के नाम करने के बारे में पूछा है। नोटिस में पूछा गया है। कि वे वसीयत या किसी को नॉमिनी भी बना सकते हैं। जेल प्रशासन के इस नोटिस के बाद तय माना जा रहा है कि अब निर्भया के दोषियों को शुक्रवार को फांसी की सजा दे दी जाएगी।
हालांकि गुरुवार को दोषी अक्षय की पत्नी की तलाक की मांग पर सुनवाई के बाद स्पष्ट हो पाएगा कि दोषियों को फांसी होगी या नहीं। बता दें कि बुधवार को अक्षय कुमार सिंह की पत्नी पुनीता ने स्थानीय परिवार न्यायालय में अर्जी देकर पति से तुरंत तलाक दिलाने की मांग की है। टंडवा थाना क्षेत्र के लहंगकरमा गांव की रहने वाले अक्षय की पत्नी पुनीता ने औरंगाबाद परिवार न्यायालय के न्यायाधीश रामलाल शर्मा की अदालत में तलाक की अर्जी दी है। इस अर्जी पर अगली सुनवाई 19 मार्च को होनी है। जबकि दिल्ली के तिहाड़ जेल में आरोपी अक्षय को फांसी पर लटकाने की तारीख 20 मार्च, 2020 मुकर्रर की जा चुकी है।
मेरा पति निर्दोष है
अक्षय की पत्नी पुनीता ने अदालत में दाखिल अर्जी में लिखा है, मेरे पति को सजा-ए-मौत दी जानी है। जबकि मेरे पति निर्दोष हैं। ऐसे में मैं अपनी जिंदगी एक दुष्कर्मी पति की विधवा बनकर नहीं गुजार सकती, लिहाजा मुझे कानूनी तौर पर पति की मौत से पहले ही तलाक दिलवाया जाए।
दोषियों को फांसी वाली सेल में शिफ्ट किया
वहीं दोषियों को फांसी वाली सेल में शिफ्ट कर दिया गया है। फांसी पर लटकाने के लिए जेल अथॉरिटी ने 10 और कर्मचारियों को विभिन्न जेलों से फांसी देने वाली जेल नंबर 3 में शिफ्ट कर दिया है। 20 मार्च तक इनकी ड्यूटी इसी जेल में रहेगी। बुधवार को फांसी का रिहर्सल किया गया। जेल अधिकारियों ने बताया कि 20 मार्च की सुबह 5:30 बजे चारों को फांसी पर लटकाने के लिए इन्हें तीन बजे उठा दिया जाएगा। दोषियों से नहाने और नाश्ता करने के बारे में पूछा जाएगा। अगर दोषियों का मन होगा तो यह नहा लेंगे, नहीं तो ऐसा जरूरी नहीं है कि उन्हें नहलाया जाए।
पूरी है फांसी की तैयारी
फांसी के दो तख्तों पर चार हैंगर बना दिए गए हैं। इनमें से एक तख्ते के लीवर को पवन जल्लाद और दूसरे को जेल स्टाफ खीचेंगा। लीवर खींचने के लिए जेल नंबर 3 का सुपरिटेंडेंट ग्रीन सिग्नल देगा। हालांकि, जेल के एक अन्य अधिकारी ने बताया कि गुरुवार को यह दोषी एक बार फिर से पटियाला हाउस कोर्ट और आर्टिकल 32 के तहत सुप्रीम कोर्ट जा सकते हैं। ऐसे में लगता है कि गुरुवार को दिनभर अदालती कार्रवाई चल सकती है। यह भी हो सकता है कि फैसला होने में रात भी लग जाए, लेकिन अब इनकी फांसी टलना मुमकिन नहीं लग रहा है, क्योंकि सीधे तौर पर इन चारों का अब कोई कानूनी अधिकार बाकी नहीं बचा है।
पोस्टमॉर्टम का इंतजाम भी पक्का
अधिकारी का कहना है कि वैसे तो चारों के शवों का पोस्टमॉर्टम डीडीयू अस्पताल में ही कराया जाएगा, लेकिन अगर कानून-व्यवस्था की कोई समस्या होती दिखाई दी तो किसी और अस्पताल में भी पोस्टमॉर्टम कराया जा सकता है। पोस्टमॉर्टम डॉक्टरों के पैनल द्वारा किया जाएगा। इसकी वीडियोग्राफी भी कराई जा सकती है।
अक्षय से मिलने नहीं आए परिजन
वहीं जेल सूत्रों का कहना है कि दोषियों ने अब तक अंतिम इच्छा के बारे में कुछ नहीं बताया है। उन लोगों ने सिर्फ अपने परिवार वालों से मुलाकात की बात कही थी। इनमें पवन, विनय और मुकेश के परिवार वालों की उनकी अंतिम मुलाकात करवा दी गई है। अक्षय के परिवार से अभी तक कोई मिलने के लिए नहीं आया है। जेल अधिकारियों के अनुसार गुरुवार तक अगर अक्षय के परिवार वाले आते हैं तो उनकी मुलाकात करवा दी जाएगी है।