तीस हजारी कोर्ट : दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश के बाद वकीलों ने खत्म की हड़ताल
तीस हजारी कोर्ट : दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश के बाद वकीलों ने खत्म की हड़ताल
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। हाईकोर्ट और बार काउंसिल ऑफ इंडिया के आदेश के बाद दिल्ली के सभी छह जिला अदालतों के वकीलों ने अपनी हड़ताल बंद कर दी। तीस हज़ारी जिला अदालत में पुलिस के साथ 2 नवंबर को हुई झड़प के बाद से वकील हड़ताल पर थे। इस झड़प में 20 से अधिक पुलिस कर्मी और आठ वकील घायल हो गए थे।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, मामले को सुलझाने के लिए वकीलों को दिल्ली हाईकोर्ट के दिए गए आदेश के बाद सभी जिला न्यायालयों की समन्वय समिति ने बैठक बुलाई थी। इस बैठक में हड़ताल खत्म करने का फैसला लिया गया। संगठन के अध्यक्ष महावीर शर्मा ने कहा, "हम हाईकोर्ट के आदेश का सम्मान करते हैं, इसलिए हड़ताल को खत्म कर रहे हैं, शनिवार से काम फिर से शुरू किया जाएगा। अधिवक्ता संरक्षण अधिनियम के लिए हमारी लड़ाई जारी रहेगी।"
बुधवार को, बार काउंसिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) ने भी हड़ताल खत्म कर सभी वकीलों को अदालत के काम को फिर से शुरू करने के लिए कहा था। बीसीआई ने कहा था कि अगर हड़ताल खत्म नहीं की जाती है तो फिर अवमानना की कार्यवाही का सामना करना पड़ेगा। बता दें कि वकीलों के गैर-हाजिर होने के कारण बिहार के मुज़फ़्फ़रपुर में एक आश्रय गृह में कई लड़कियों के कथित यौन और शारीरिक हमले के मामले में फैसले सहित कई महत्वपूर्ण मामलों की सुनवाई को टालना पड़ा था।
दिल्ली हाईकोर्ट के आदेशों पर रविवार को सभी जिला अदालतों संघों के सदस्यों, दिल्ली पुलिस और उपराज्यपाल अनिल बैजल की एक बैठक हुई थी। हालांकि इस बैठक में कोई भी निष्कर्ष नहीं निकल पाया जिस कारण अब तक हड़ताल खत्म नहीं हो पाई थी।
बता दें कि तीस हजारी कोर्ट में पार्किंग को लेकर वकीलों का पुलिसकर्मियों के साथ विवाद हो गया था। यह विवाद इतना बढ़ गया की इसने हिंसक रूप ले लिया। इस विवाद में 20 से ज्यादा पुलिसकर्मी और करीब 8 वकील घायल हो गए थे। इसके बाद अपना विरोध जताते हुए वकीलों ने हड़ताल शुरू कर दी थी। इस दौरान वीकलों के पुलिसकर्मियों के साथ मारपीट के और भी मामले सामने आए। जिसके बाद हजारों पुलिसकर्मियों ने भी दिल्ली पुलिस हेडक्वार्टर के सामने धरना दिया था। वरिष्ठ अधिकारियों के आश्वासन के बाद धरने को खत्म कर दिया गया।