दोनों बेटियां पहुंची हरिद्वार में गंगा घाट, नम आंखों से किया माता-पिता का अस्थि विसर्जन
गंगा में समाए CDS रावत दोनों बेटियां पहुंची हरिद्वार में गंगा घाट, नम आंखों से किया माता-पिता का अस्थि विसर्जन
- कृतिका और तारिणी ने बरार स्क्वायर से माता-पिता की अस्थियां इकट्ठा की
डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। 8 दिसंबर को देश ने अपना पहला CDS खो दिया। जनरल बिपिन रावत और उनकी पत्नी मधुलिका रावत समेत 13 जवानों का निधन देश के लिए बहुत बड़ी क्षति है। जनरल रावत की दोनों बेटियां कृतिका और तारिणी ने बेहद मजबूती के अपने माता-पिता को अंतिम विदाई है। आज दोनों बेटियां अस्थियां लेकर हरिद्वार पहुंची और उन्हें गंगा में विसर्जित किया।
कृतिका और तारिणी ने आज सुबह दिल्ली छावनी के बरार स्क्वायर श्मशान घाट से माता-पिता की अस्थियां इकट्ठा की और उन्हें कलश में रखकर लाल कपड़े से बांधा और नम आंखों के साथ माता-पिता की अस्थियों को मां गंगा को सौंप दिया। ये पल दोनों के लिए कितना दर्द भरा होगा। इस बात से हर कोई वाकिफ है। जवानों के निधन से पूरा देश गम में डूबा हुआ है।
ऐसी अंतिम विदाई आज किसी की शायद ही हुई होगी, जैसी जनरल रावत की हुई है। पूरे राजकीय सम्मान के जब जनरल रावत को अंतिम विदाई दी जा रही थी तो, लोग उनकी गाड़ी की पीछे तिरंगा लेकर दौड़ते रहे। दिल्ली कैंट में शाम 4:56 मिनट में जनरल रावत और मधुलिका रावत की चिता को दोनों बेटियों ने मुखाग्नि दी। दोनों बेटियों के साथ पूरा देश रो रहा था। सभी गम में डूबे हुए थे।
बेटियों को परिजनों ने संभाला
माता-पिता के जलते शवों को देखकर बेटियां खुद को संभाल नहीं पा रही थी। अंतिम संस्कार के दौरान सभी रस्मों-रिवाजों को बेटियों ने पूरा किया। अपने माता-पिता के देह पर चंदन और घी डालने के बाद उन्होंने अपना सुध-बुध खो दिया। परिजनों ने उन्हें गले लगाया और आंसू पोंछकर चुप करवाते रहे। लेकिन, मां-पापा की कमी भला कौन पूरी कर सकता है। ये बात और ये दर्द सिर्फ दोनों बेटियां ही समझ सकती है।
आपत्तिजनक टिप्पणी करना पड़ेगा भारी
सोशल मीडिया पर कुछ लोग जवानों की शहादत पर आपत्तिजनक टिप्पणी को लेकर सरकार सख्त हो गई है। उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने ट्वीट करके कहा कि ऐसे लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।