4 दिन की पुलिस हिरासत में भेजा गया गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई
मूसेवाला हत्याकांड 4 दिन की पुलिस हिरासत में भेजा गया गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई
- मामले में गैंगस्टर की चार दिन की हिरासत की आवश्यकता
डिजिलट डेस्क, नई दिल्ली। दिल्ली की एक अदालत ने शुक्रवार को एक पुराने आर्म्स एक्ट मामले में गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई को चार और दिनों की पुलिस हिरासत में भेज दिया। बिश्नोई को रविवार को पटियाला हाउस कोर्ट के समक्ष पेश किया गया था, जिसने उसे पांच दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया था और उसकी रिमांड की अवधि समाप्त होने के बाद उसे फिर से अदालत में लाया गया।
दिल्ली पुलिस के स्पेशल सेल ने अदालत के समक्ष प्रस्तुत किया कि उसे वर्तमान मामले में गैंगस्टर की चार दिन की हिरासत की आवश्यकता है, जो कि एक अन्य जेल में बंद गैंगस्टर जग्गू भगवनपुरिया द्वारा बिश्नोई को हथियारों की आपूर्ति के संबंध में है। जसदीप सिंह उर्फ भगवनपुरिया अपनी आपराधिक गतिविधियों के लिए ज्यादातर पंजाब के माझा इलाके में कुख्यात है। जग्गू और उसका गिरोह दिवाली की रात ध्यानपुर गांव में एक सरपंच के बेटे की हत्या का मुख्य आरोपी था।
पूछताछ के दौरान बिश्नोई ने स्पेशल सेल को पंजाब, हरियाणा, उत्तराखंड और राजस्थान में रहने वाले हथियार सप्लायरों के ठिकाने और नाम के बारे में बताया था। पुलिस को संदेह है कि ये आपूर्तिकर्ता वे हो सकते हैं जिन्होंने पंजाबी गायक-राजनेता सिद्धू मूसेवाला के हत्यारों की मदद की। एक का नेतृत्व फरीदकोट निवासी रंजीत, दूसरा हरियाणा-राजस्थान सीमा क्षेत्र का निवासी विजय और एक अन्य राका द्वारा किया गया।
बिश्नोई 29 मई को कथित तौर पर अपने गिरोह की ओर से सिद्धू मूसेवाला के नाम से मशहूर पंजाबी गायक शुभदीप सिंह की हत्या के बाद सुर्खियों में आया था। बिश्नोई के वकील विशाल चोपड़ा ने कहा, दिल्ली पुलिस ने अपने रिमांड आवेदन में सिद्धू मूसेवाला मामले का जिक्र नहीं किया। लेकिन उसे पांच दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। हालांकि सूत्रों ने दावा किया है कि जांच के दौरान जिन हथियारों के सप्लायर के नाम सामने आए हैं, वे वही हो सकते हैं जिन्होंने मूसेवाला के हत्यारे को हथियार सप्लाई किए थे।
सोर्स- आईएएनएस
डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ bhaskarhindi.com की टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.