लॉकडाउन ताक पर: घर जाने की आस में सड़कों निकले भूखे मजदूर, पुलिस ने मुंबई में लाठी भांजी, सूरत में वापस भगाया
लॉकडाउन ताक पर: घर जाने की आस में सड़कों निकले भूखे मजदूर, पुलिस ने मुंबई में लाठी भांजी, सूरत में वापस भगाया
डिजिटल डेस्क, मुंबई। देश में कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों की लगातार बढ़ती संख्या को देखते हुए केंद्र सरकार ने 3 मई तक लॉकडाउन बढ़ा दिया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज (मंगलवार) सुबह 10 बजे देश के नाम अपने संबोधन में इसकी घोषणा की। पीएम ने लोगों से अपील की कि लॉकडाउन का सख्ती से पालन करें, लेकिन इसके कुछ ही घंटे बाद ही मुंबई और सूरत में भूखे मजदूरों की भीड़ नियमों को ताक पर रख सड़कों पर उतर आई। दोनों ही शहरों में मजदूरों की एक ही परेशानी थी। मजदूरों का कहना था कि उन्हें खाना नहीं मिल पा रहा है और रोजगार भी नहीं हैं ऐसे में जिएं तो कैसें?
मुंबई के बांद्रा रेलवे स्टेशन पर बड़ी संख्या में प्रवासी मजदूरों की भीड़ इकट्ठा हो गई। ये मजदूर लॉकडाउन खत्म होने और ट्रेन सेवा शुरू होने की अफवाह के कारण अपने-अपने घर जाने की आस में स्टेशन पर पहुंचना शुरू हो गए थे। स्टेशन पर इतनी बड़ी संख्या में भीड़ जमा होते देख पुलिस प्रशासन को लाठीचार्ज करना पड़ा। बांद्रा की घटना पर महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे ने कहा कि लॉकडाउन का मतलब लॉकअप नहीं, प्रवासी मजदूरों को महाराष्ट्र में डरने की जरूरत नहीं, सरकार उनका पूरा ध्यान रखेगी।
Mumbai: A large group of migrant labourers gathered in Bandra, demanding for permission to return to their native states. They later dispersed after police and local leaders intervened and asked them to vacate. pic.twitter.com/uKdyUXzmnJ
— ANI (@ANI) April 14, 2020
भीड़ शुरू की हिंसा, इसलिए बल प्रयोग करना पड़ा: पुलिस
मुंबई पुलिस के PRO DCP प्रणय अशोक ने बताया कि आज शाम 4 बजे बांद्रा रेलवे स्टेशन के पास लगभग 1500 लोग इकट्ठा हो गए। उनमें से ज्यादातर बाहर से आए प्रवासी मजदूर थे। वे लॉकडाउन बढ़ने से दुखी थे और अपने घरों को वापस जाना चाहते थे। उन्होंने प्रशासन के आगे अपनी मांग रखी। DCP प्रणय ने बताया कि स्थानीय पुलिस अधिकारियों ने मौके पर जाकर उनसे बात की और उन्हें समझाने की कोशिश की। इस दौरान भीड़ का एक हिस्सा हिंसक हो गया, इसलिए उन्हें नियंत्रित करने के लिए हल्के बल का इस्तेमाल करना पड़ा। भीड़ को तितर-बितर किया गया। पुलिस तैनात कर दी गई है। स्थिति सामान्य है।
Local Police officials went to the spot, talked to themtried to convince them. During this,a section of the crowd turned violent so light force had to be used to bring them under control.Crowd was dispersed.Police is deployed there.Situation is normalpeaceful: Mumbai police PRO https://t.co/Uiihf7EXEd
— ANI (@ANI) April 14, 2020
एक मैसेज से फैली अफवाह
मंगलवार को मुंबई के बांद्रा रेलवे स्टेशन के पास मजदूरों की भीड़ एक मैसेज से फैली अफवाह के कारण इकट्ठा हुई। स्थानीय लोगों के मुताबिक एक मैसेज लोगों के मोबाइल पर आया और लोग जामा मस्जिद पर इकट्ठा हो गए। इसके बाद बांद्रा रेलवे स्टेशन पर आ धमके। मजदूरों को यह मैसेज कहां से आया और किसने भेजा, इसकी जांच की जा रही है।
1000 अज्ञात लोगों पर कैस दर्ज
अतिरिक्त पुलिस आयुक्त मनोज कुमार शर्मा ने कहा कि इतने लोगों की भीड़ एक साथ कैसे इकट्ठा हुई। इसकी जांच कर कार्रवाई की जाएगी। वहीं पुलिस ने बांद्रा में इकट्ठा होने की घटना के संबंध में 800-1000 अज्ञात लोगों के खिलाफ महामारी अधिनियम धारा 3 के साथ बांद्रा पुलिस स्टेशन में धारा 143, 147, 149, 186, 188 के तहत मामला दर्ज किए हैं।
विनय दुबे नाम के एक शख्स को गिरफ्तार किया
इसी तरह ठाणे के मुंब्रा में भी मजदूर सड़क पर आए। मजदूरों की भारी भीड़ इकट्ठा होने के मामले में नवी मुंबई पुलिस ने विनय दुबे नाम के एक शख्स को गिरफ्तार किया है। आरोप है कि वह 18 अप्रैल को मजदूरों के बड़े विरोध प्रदर्शन की धमकी दे रहा था। दरअसल, विनय दुबे नाम का एक व्यक्ति "चलो घर की ओर" कैंपेन चला रहा था। उसने अपने फेसबुक पर शेयर किए गए पोस्ट में बांद्रा में होने की बात कही थी। लॉकडाउन के बीच विनय दुबे पर भीड़ को गुमराह करने का आरोप है।
सूरत में मजदूरों ने की खाने की डिमांड
सूरत में भी मंगलवार को सैकड़ों की संख्या में प्रवासी मजदूर सड़कों पर उतर आए। ये लोग यहां के वाराछा इलाके में स्थित कपड़ा मिलों में मजदूर थे। इनका कहना था कि लॉकडाउन में खाना-पीना नहीं मिल रहा है और ऐसे में इन्हें इनके गांव जाने दिया जाए। सरकार इसकी व्यवस्था करे। बाद में पुलिस के हस्तक्षेप से वे तितर-बितर हो गए। पुलिस ने उन्हें एरिया को खाली करने और अपने ठहरने के स्थान पर लौटने के लिए राजी कर लिया।
Just In: More than 500 migrant workers gathered in Surat’s Varachha area demanding that they be allowed to return their home. They are migrants employed in textiles embroidery units in Surat. @the_hindu @nistula @abaruah64 pic.twitter.com/TdC1IWEfDT
— Mahesh Langa (@LangaMahesh) April 14, 2020
DCP सूरत ने बताया कि मजदूर अपने मूल राज्यों में वापस जाना चाहते थे। हमने उन्हें समझाया कि लॉकडाउन बढ़ गया है, इसलिए किसी भी वाहन का आवागमन संभव नहीं है। उन्होंने यह भी शिकायत की कि उन्हें खाना नहीं मिल रहा है। हमने खाना परोेस रही एक एजेंसी को बुलाया। हम लोगों से इसे लेने का अनुरोध कर रहे हैं।
मजदूर अपने मूल राज्यों में वापस जाना चाहते थे। हमने उन्हें समझाया कि लॉकडाउन बढ़ गया है इसलिए किसी भी वाहन का आवागमन संभव नहीं है। उन्होंने यह भी शिकायत की कि उन्हें खाना नहीं मिल रहा है। हमने खाना परोेस रही एक एजेंसी को बुलाया। हम लोगों से इसे लेने का अनुरोध कर रहे हैं: DCP सूरत https://t.co/VmDPRyPvTO pic.twitter.com/qNY1jXCR8A
— ANI_HindiNews (@AHindinews) April 14, 2020
दिल्ली में हाई अलर्ट, सीएम ने अफवाहों पर ध्यान देने की अपील की
मुंबई और सूरत में मजदूरों के सड़क पर उतरने के बाद दिल्ली में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। मुंबई और सूरत की घटनाओं को देखत हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को बयान देते हुए कहा कि कुछ लोग अफवाहें फैला रहे हैं। आप में से कई लोग हैं जो बाहर से आकर दिल्ली में रह रहे हैं और अपने घर, गांव जाने के लिए बेचैन होंगे। आप लोगों से हाथ जोड़कर विनती है कि 3 मई तक रुक जाइए। अभी आप घर जाने की जल्दबाजी मत कीजिए। कोई कहेगा कि हमें इतने पैसे दे दो हम आपको घर पहुंचा देंगे। कोई कहेगा फलां जगह पर DTC की बसें खड़ी हैं चलो, फलां सरकार और यूपी सरकार की बसें चल रही हैं बता दूं कि कोई बसें कहीं से नहीं चल रही हैं। किसी की अफवाह में मत आना वर्ना दुर्गति होगी।