अफगानिस्तान में 2.44 करोड़ लोगों को तत्काल मानवीय सहायता की जरूरत
अफगानिस्तान अफगानिस्तान में 2.44 करोड़ लोगों को तत्काल मानवीय सहायता की जरूरत
डिजिटल डेस्क, काबुल। अफगानिस्तान में लगभग 2.44 करोड़ लोग, जिनमें 1.3 करोड़ बच्चे शामिल हैं, को तत्काल मानवीय सहायता की जरूरत है। यह की जानकारी ब्रिटेन स्थित सेव द चिल्ड्रन एनजीओ के एक अध्ययन में सामने आई है।
खामा प्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, बुधवार को जारी अध्ययन रिपोर्ट में अफगानिस्तान में 9.2 मिलियन बच्चों सहित 1.89 करोड़ लोगों के जून और नवंबर 2022 के बीच एक आपातकालीन या गंभीर खाद्य असुरक्षा का अनुभव होने का अनुमान है।
सेव द चिल्ड्रन स्टडी ने संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम का हवाला देते हुए कहा कि 97 प्रतिशत अफगान आबादी गरीबी में रहने और गरीबी रेखा से नीचे गिरने की संभावना का सामना करती है।
रिपोर्ट के अनुसार, पांच साल से कम उम्र के 11 लाख अफगान बच्चे तीव्र कुपोषण से प्रभावित हैं। कोविड-19, खसरा, एक्यूट वाटर डायरिया, और डेंगू बुखार उन कई बीमारियों में से हैं, जिनसे अफगानिस्तान इस समय निपट रहा है।
लिंक्स, सेव द चिल्ड्रन का कहना है, अर्थव्यवस्था में भारी संकुचन बढ़ती गरीबी, और वित्तीय अस्थिरता, साथ ही उच्च बेरोजगारी और खाद्य और कृषि इनपुट की ऊंची कीमतें, अंतर्राष्ट्रीय अनुदान सहायता में तेजी से गिरावट, अपतटीय संपत्तियों तक पहुंच की हानि और वित्तीय व्यवधान के कारण हुआ है।
तालिबान शासन में अफगानिस्तान की अर्थव्यवस्था समूह के राजनीतिक अलगाव और आर्थिक प्रतिबंधों से प्रभावित है। इसने देश के पहले से ही गरीब नागरिकों की गरीबी, बेरोजगारी और भुखमरी बढ़ा दी है।
आईएएनएस
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