फैक्ट चेक: नए कानून लागू होने के बाद लखनऊ पुलिस की गिरफ्तारी का वीडियो वायरल, अफसर पर घूसखोरी का आरोप, दावा निकला फर्जी
- लखनऊ के पुलिस अफसर का वीडियो वायरल हो रहा है
- नए कानून के बाद लखनऊ इंस्पेक्टर की गिरफ्तारी होने का दावा
- पुलिस अधिकारी पर घूसखोरी का आरोप लगाया गया
डिजिटल डेस्क, भोपाल। नए कानून लागू होने के बाद एक वीडियो सोशल मीडिया पर तूल पकड़ रहा है।1 जुलाई से देश में तीन नए आपराधिक कानून लागू हो गए हैं। इनके नाम भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनिमय है। कानून लागू होने के बाद उत्तर प्रदेश के लखनऊ का वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। जिसमें यूजर का दावा है की नए क्रिमिनल लॉ आने के बाद लखनऊ के एक पुलिस अफसर को घूसखोरी के आरोप में गिरफ्तार किया जा रहा है। हमारी टीम ने इस वायलर क्लिप की जांच-पड़ताल की तो पता चला कि यूजर का दावा झूठा है।
यूजर का दावा
इस क्लिप में एक वकील नजर आ रहा है जो लखनऊ के एक पुलिस इंस्पेक्टर का हाथ पकड़ कर कहीं ले जाता नजर आ रहा है। पुलिस अफसर के एक हाथ में कुछ पेपर और फोन नजर आ रहा है। वहीं, वकील की पोशाक पहने हुए एक शख्स, अफसर का दूसरा हाथ पकड़े हुए दिख रहा है। यूजर का दावा है कि यह वीडियो तीन नए कानून लागू होने के बाद का है। Neeraj Rajput समाजसेवी नाम के यूजर ने यह क्लिप फेसबुक पर शेयर की है। उसका कहना है कि,“वकील साहब ने सही किया या गलत? नए कानून के लागू होने का असर वकील साहब दरोग़ा को घूसखोरी के आरोप में पकड़कर ले जाते हुए।”
पड़ताल
हमारी टीम को रिवर्स सर्च करने पर वायरल वीडियो की तरह ही एक क्लिप यूट्यूब पर मिली। यह वीडियो Ravindra kumar jaiswal नाम के शख्स ने अपने यूट्यूब चैनल पर 17 जून 2023 को अपलोड की थी। जिसे देख कर हमारी टीम को यह पता चला कि वायरल हो रही वीडियो इस साल की नहीं बल्कि साल 2023 की है। यूट्यूब पर शेयर कर यूजर ने लिखा, “योगीराज में जो भी घूसखोरी करेगा उसका यही अंजाम होगा चाहे पुलिस हो चाहे नेता मामला थाना बीकेटी लखनऊ।”
बता दें हमारी टीम को न्यूज टैक की वेबसाइट पर इसी मामले से जुड़ी खबर पाई। यह न्यूज 2023 को डाली गई थी। इसमें यह पता चलता है कि वीडियो में दिख रहे पुलिस अफसर का नाम प्रदीप पांडे है जिसको 25 हजार रुपये की घूसखोरी के मामले में गिरफ्तार किया जा रहा है।
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