क्राइम: लापता चौकीदार की पेड़ पर लटकती मिली लाश, हत्या का संदेह, परिजनों ने साथियों पर लगाया आरोप
- परिजनों ने साथियों पर लगाया आरोप
- लापता चौकीदार की पेड़ पर लटकती मिली लाश
- हत्या का किया जा रहा संदेह
डिजिटल डेस्क, भोपाल। मध्य प्रदेश में सतना के बरौंधा वन परिक्षेत्र के केल्हौरा बीट के लापता चौकीदार रामसजीवन यादव पुत्र भोला प्रसाद 55 वर्ष, निवासी केल्हौरा, की लाश सोमवार सुबह जंगल में पेड़ पर लटकते मिलने से सनसनी फैल गई, जिसके परिजन ने हत्या का आरोप लगाया है, तो वहीं प्रारंभिक साक्ष्य भी इसी दिशा में इशारा कर रहे हैं। कुछ संदेहियों को हिरासत में लिया गया है। पुलिस ने बताया कि बीते 2 वर्षों से दैनिक वेतन भोगी के तौर पर कार्यरत रामसजीवन अपने एक अन्य परिचित मंजू उर्फ मनीष व रामविश्वास रवि के साथ रविवार सुबह लगभग 7 बजे बीट भ्रमण के लिए बाइक लेकर निकल गया, मगर घंटों तक नहीं लौटा। शाम लगभग 5 बजे मंजू उसकी मोटरसाइकिल टूटी-फूटी हालत में लेकर घर पहुंचा, लेकिन चौकीदार के संबंध में कुछ भी नहीं बता पाया।
इधर थाने आए परिजन, उधर मिली लाश
इस बात से घर के लोग परेशान होकर तलाश में जुट गए, तो वहीं पुलिस व फॉरेस्टर अफसरों को भी खबर कर दी। रातभर सर्चिंग चलती रही, पर वृद्ध चौकीदार का पता नहीं चला। ऐसे में सोमवार सुबह परिजनों को गुमशुदगी दर्ज कराने के लिए थाने बुलाया गया, तभी लगभग साढ़े 8 बजे कुछ ग्रामीणों ने रामसजीवन की लाश पेड़ पर उसके ही गमछे से लटकने की सूचना डॉयल 100 पर दी तो परिजनों के साथ पुलिस भी मौके पर पहुंच गई।
शव उतारने से रोका
शव देखते ही घर वालों ने दोनों साथियों पर हत्या कर शव पेड़ पर लटकाने का आरोप लगा दिया और मुकद्मा दर्ज नहीं होने तक पोस्टमार्टम नहीं कराने पर अड़ गए। एक परिजन को नौकरी और आर्थिक सहायता की मांग भी रखी गई। अंतत: मौके पर एसडीएम जीतेन्द्र वर्मा और एसडीओपी रोहित राठौर ने पहुंचकर उचित कार्रवाई का भरोसा दिलाया, तो वहीं दोनों संदेहियों को भी हिरासत में लिया गया, तब जाकर परिजनों ने घटना स्थल से शव उठाने दिया। हत्या के संदेह को देखते हुए टीम से पोस्टमार्टम कराया गया है।
फॉरेंसिक ने घटना स्थल का किया मुआयना
चौकीदार की मौत की जांच के लिए वैज्ञानिक अधिकारी डॉ. महेंद्र सिंह टीम के साथ मौके पर पहुंचे और घटना स्थल समेत लाश का बारीकी से मुआयना किया। मृतक के दोनों पैर जमीन पर रखे हुए थे और पेड़ की जिस डाल से बंधे गमछे में शव लटक रहा था वह भी ज्यादा ऊंचाई पर नहीं थी। मृतक के शरीर पर गंभीर चोटें तो नहीं थी, पर सीने, दोनों हाथ और गले के पास कुछ निशान दिख रहे थे। फॉरेंसिक टीम ने भी प्रथम दृष्टया मौत के बाद लाश को लटकाने की राय दी है। हालांकि स्पष्ट कारणों के लिए पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है। इस बीच परिजनों ने यह दावा किया कि रात में और सुबह थाने आने से पहले उन्होंने पेड़ के आसपास तलाश की थी, पर तब लाश नहीं थी।
3 साथियों से पूछताछ
उधर जब मृतक के साथियों से पूछताछ की गई तो मंजू ने बताया कि केल्हौरा से निकलने के बाद दोनों लोगों ने ढाबे से चिकन लिया और दोपहर 12 बजे रामविश्वास के घर पहुंचकर बनाने के लिए दे दिया। मृतक चिकन नहीं खाता था, ऐसे में वह रामविश्वास के मकान के पीछे गप्पू मवासी के निर्माणाधीन मकान का जायजा लेने चला गया और फिर वापस नहीं आया। इधर 4 बजे तक आराम करने के बाद रामसजीवन के नहीं लौटने पर मंजू बाइक लेकर उसके घर चला गया। संदिग्ध परिस्थितियों को देखते हुए मंजू, रामविश्वास और गप्पू को हिरासत में लिया गया है, तो वहीं कुछ अन्य संदेहियों की तलाश में टीम रवाना की गई है। इस मामले में बरौंधा के रेंजर व्रिजेन्द्र पांडेय के मुताबिक मृतक काफी सक्रिय रहता था। उसने वन क्षेत्र में लकड़ी काटने वालों की गतिविधियां बढ़ने की सूचना भी दी थी। ऐसे में अवैध कटाई करने वालों की भूमिका हत्या में हो सकती है।