Shahdol News: वन विभाग द्वारा बांधवगढ़ में हाथियों की मौत की वजह ‘कोदो’ बताने का बुरा असर

  • उमरिया तथा शहडोल में एक माह में 12 सौ रुपये प्रति क्विंटल गिरे दाम
  • आवक का यह आंकड़ा करीब 50 फीसद गिर कर प्रति दिन 100 टन पर आ गया है।
  • कोदो की खेती को बढ़ावा देने के लिए किसानों को प्रति हेक्टेयर 39 सौ रूपये प्रोत्साहन राशि भी दी जा रही है।

Bhaskar Hindi
Update: 2024-11-18 14:01 GMT

Shahdol News: बांधवगढ़ में 29 से 31 अक्टूबर के बीच 10 जंगली हाथियों की मौत की वजह वन विभाग द्वारा कोदो फसल में फफूंद लगना बताने का बाजार और किसान दोनों पर बुरा असर पड़ा है। एक महीने भीतर उमरिया तथा शहडेल में कोदो के दाम 12 सौ रूपए प्रति क्विंटल गिर गए हैं। सितंबर माह तक बाजार में किसानों से कोदो 35 सौ रूपये प्रति क्विंटल की दर पर खरीदा जा रहा था।

वर्तमान में भाव गिरकर 23 सौ रूपए प्रति क्विंंटल हो गया है। दाम में आई इस बड़ी गिरावट से परेशान किसान बताते हैं कि बाजार में अचानक भाव गिर जाने से इस बार लागत निकलना भी मुश्किल लग रहा है। उमरिया कलेक्टर धणेन्द्र जैन ने बाजार में अचानक कोदें के दाम गिर जाने को लेकर व्यापारियों और किसानों से चर्चा करने की बात कही है। उन्होंने कहा कि कोदो की खेती को बढ़ावा देने के लिए किसानों को प्रति हेक्टेयर 39 सौ रूपये प्रोत्साहन राशि भी दी जा रही है।

किसान बोले ..‘अब कोदो बोने को लेकर सोचना पड़ेगा’

शनिवार को अपनी उपज (कोदो) बेचने बाजार में पहुंचीं ग्राम किरनताल की संतोषी बाई के उस समय होश उड़ गए जब पता चला कि प्रति क्विंटल 35 सौ की जगह 23 सौ का भाव चल रहा है। उन्होंने कहा कि हमारा काफी नुकसान हो जाएगा। उन्होंने कहा कि, पिछले साल 3500 का भाव मिलने से उत्साहित हो उन्होंने इस साल ज्यादा क्षेत्रफल में कोदो बोई थी लेकिन अब उन्हें इसके बारे में सोचना पड़ेगा। धमोखर की सुभद्रा बाई बैगा ने कहा कि चानक से 1200 रुपये की गिरावट आने से हमें लागत निकालना भी मुश्किल हो जाएगा।

ऐसा लगता है हमें कोदो से तौबा करनी पड़ेगी। ग्राम उजान से बाजार में पहुंचे अंकुश माझी ने कहा कि बांधवगढ़ में हाथियों की मौत की घटना के बाद कोदो को लेकर लोग तरह-तरह की बातें कर रहे हैं। इसका बुरा असर बाजार में कोदो के दाम पर पड़ा है। महीने भर में आई इस बड़ी गिरावट का खामियाजा हम किसानों को भुगतना पड़ रहा है। दाम गिरने से किसान परेशान हैं। वे इस बात को लेकर भी परेशान हैं कि आने वाले समय में वे कोदो बोएं या नहीं।

दाम गिरते ही आवक घटी

हाथियों की मौत के बाद ‘कोदो’ को लेकर मचे बवाल के बीच बाजार में इसके दाम गिरने के चलते पूरे शहडोल संभाग में इसकी आवक गिर गई है। कृषि विभाग के संभागीय कार्यालय के आंकड़ों के मुताबिक पिछले महीने तक हर दिन करीब 200 टन कोदो शहडोल, उमरिया तथा अनूपपुर के बाजार में आ रहा था।

इस समय आवक का यह आंकड़ा करीब 50 फीसद गिर कर प्रति दिन 100 टन पर आ गया है। बाजार सूत्रों के मुताबिक किसानों की नजर अब प्रशासन तथा सरकार के अगले कदम पर है कि वह बाजार में आई इस बिरावट को रोकने तथा शहडोल तथा उमरिया के किसानों को कोदो का पूरा दाम दिलाने क्या कदम उठाता है।

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