Parbhani News: किराए के प्रचारकों ने बढ़ाई भीड़, प्रत्याशियों की हौसला अफजाई, महिला-पुरुष कार्यकर्ताओं की चांदी

  • लोगों ने किराए के कार्यकर्ता उपलब्ध करवाए
  • भोजन पानी के अलावा प्रतिदिन की मजदूरी एवं अन्य सुविधाएं दी

Bhaskar Hindi
Update: 2024-11-19 13:09 GMT

Parbhani News : जिले के सभी चार विधानसभा क्षेत्रों में चुनाव प्रचार के लिए भीड़ जुटाने, जनसंपर्क के दौरान संबंधित प्रत्याशी के साथ भीड़ की शक्ल में साथ चलने, छोटी-बड़ी सभाओं, नुक्कड़ सभाओं और बैठकों में भीड़ नजर आई, इसलिए कुछ लोगों ने किराए के कार्यकर्ता उपलब्ध करवाए, जिन्हें भोजन पानी के अलावा प्रतिदिन की मजदूरी एवं अन्य सुविधाएं दी जा रही थीं, जिसके कारण संबंधित व्यक्ति के साथ बड़ी संख्या में भाड़े के कार्यकर्ता नजर आ रहे थे। यही प्रकिया लगभग सभी चुनाव लड़ने वालों ने अपनाई, इसलिए खेतों और अन्य कार्यों के लिए समय पर मजदूर नहीं मिल रहे थे। इतना ही नहीं घरों में काम करने वाली महिलाएं तक बहाना बनाकर चुनाव प्रचार के लिए बकायदा शुल्क लेकर पहुंचती रहीं।

ऐसा रहा नजारा : लोकसभा और विधानसभा चुनावों के बाद महा गठबंधन हो, महाविकास अाघाड़ी हो इनके संतुलित और असंतुलित उम्मीदवारों ने अपने नामांकन पत्र दाखिल करते समय किए गए शक्ति प्रदर्शन के बाद से किराए के कार्यकर्ताओं की बड़ी सेनाओं का इस्तेमाल चुनाव प्रचार में किया गया। प्रचार के पहले चरण से लेकर आखिरी चरण तक इन किराए के कार्यकर्ताओं को बड़े-बड़े नेताओं, स्टार प्रचारकों की बैठकों, रैलियों में बुलाया जाता रहा। उसके जरिए यह असंतुलित उम्मीदवार अपनी ताकत दिखाने की कोशिश में जुटे रहे। अंतिम चरण में भी इस तरह का शक्ति प्रदर्शन बड़े पैमाने पर हुआ। इसलिए इस चुनाव में किराए के कार्यकर्ताओं ने अच्छी खासी कमाई कम समय में की। यह बात अलग है कि जिनके समर्थन में उन्होंने कसीदे पढ़े वे जीतें या हारें इससे उन्हें कुछ लेना देना नहीं था। वे सिर्फ अपनी मजदूरी के लिए भीड़ में जाते थे।

गैंग लीडरों की कमाई : चारों विधानसभा क्षेत्रों में इन भाड़े के कार्यकर्ताओं के लिए संबंधित प्रत्याशियों को पानी की तरह पैसा बहाना पड़ा। इन श्रमिकों के हाथ में दैनिक मजदूरी की तरह प्रतिदिन पैसा आता था। कार्यकर्ता बनने के लिए, रैलियों और बैठकों में उपस्थिति दर्ज कराने के लिए पुरुषों को 400 रुपए से लेकर 800 रुपए, महिलाओं को 300 रुपए से लेकर 600 रुपए तक का भुगतान किए जाने की खबर है। यहां तक कि इन श्रमिकों के समूहों का नेतृत्व करने वाले प्रमुखों ने भी प्रत्येक पुरुष या महिला कार्यकर्ता के माध्यम से अपना स्वयं का कमीशन हासिल किया। इस चुनाव में ऐसे गैंग लीडरों की संख्या भी काफी बढ़ गई थी।

परभणी विधानसभा क्षेत्र की तस्वीर : चुनावी परीक्षा की इस घड़ी में अभ्यर्थियों के साथ-साथ उनके पूरे परिवार, करीबी रिश्तेदार और दूर-दराज के परिचितों ने भी स्वयंस्फूर्त ढंग से उनके प्रचार के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी। मित्र, परिवार और समर्थक पहले से ही जनसंपर्क में जुटे रहें। प्रत्याशियों का पूरा परिवार भी इस दौरान हाथ जोड़कर आशीर्वाद मांगता नजर आया।

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