स्वीडन से सहयोग मिला तो नागपुर में कचरे से बनेगी बिजली

स्वीडन से सहयोग मिला तो नागपुर में कचरे से बनेगी बिजली

Bhaskar Hindi
Update: 2017-11-29 14:08 GMT
स्वीडन से सहयोग मिला तो नागपुर में कचरे से बनेगी बिजली

डिजिटल डेस्क, मुंबई। सीएम फडणवीस ने स्मार्ट सिटी परियोजना के तहत ठोस कचरे से बिजली बनाने के लिए स्वीडन का सहयोग मांगा है। सीएम ने कहा कि स्मार्ट सिटी बनाने की योजना बनाते समय गंदे पानी और ठोस कचरे का रिसाइकल करके बिजली निर्माण पर जोर दिया जा रहा है। जब्कि पुणे में ठोस कचरा से बिजली बनाने का काम शुरू है।  इसी तरह की परियोजना नागपुर और मुंबई में शुरू करने का विचार है। इसके लिए योजना बनाने और लागू करने के लिए स्वीडन को मदद करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि पर्यावरण की दृष्टि से स्मार्ट सिटी महत्वपूर्ण है। 

सीएम के बंगले वर्षा पर हुई खास मुलाकात
बुधवार को सीएम से स्वीडन के स्मार्ट सिटी अध्यक्ष और आइवीएल संस्था के उपाध्यक्ष ओस्टेन इकेनग्रेन से वर्षा पर मुलाकात की। जहां इसे लेकर दोनो के बीच खास बातचीत हुई। ओस्टेन इकेनग्रेन ने कहा कि हम मेक इन महाराष्ट्र के तहत काम करने के लिए उत्सुक है। रिसाइकल का काम स्वीडन में 98 प्रतिशत हुआ है। सीएम ने कहा कि स्मार्ट सिटी बनाने की योजना को लेकर सरकार कई बातों का ध्यान रख रही है, मसलन गंदे पानी और ठोस कचरे का रिसाइकल करके उससे बिजली निर्माण पर जोर दिया जा रहा है। जिससे आने वाले समय में फायदा होगा। वेस्टेज का सही इस्तेमाल हो सकेगा। प्रदूषण की समस्या से कुछ हद तक बचा जा सकता है।

सार्वजनिक स्थानों पर बोतल वेडिंग मशीन लगाने की जरूरत
स्वीडन ने गंदे पानी पर प्रक्रिया परियोजना और कचरा से बिजली बनाने पर जोर दिया है। आइवीएल कंपनी आधुनिक तकनीक पर जोर देकर स्मार्ट सिटी के शहरों को विकसित किया जा रहा है। इस दौरान प्रदेश के उद्योग मंत्री सुभाष देसाई ने कहा कि पानी की बोतलों का रिसाइकल करने के लिए मंत्रालय और सार्वजनिक स्थानों पर बोतल वेडिंग मशीन लगाने की जरूरत है। सीएम ने सभी सुझावों पर गौर करते हुए ठोस कदम उठाने का मन बनाया है।

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