मुख्यमंत्री ने कहा - युद्ध लड़ने जैसा है कोरोना से मुकाबला, गृहमंत्री बोले- राज्य में होगा लॉकडाऊन!
मुख्यमंत्री ने कहा - युद्ध लड़ने जैसा है कोरोना से मुकाबला, गृहमंत्री बोले- राज्य में होगा लॉकडाऊन!
डिजिटल डेस्क, मुंबई। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि कोरोना वायरस का प्रकोप मतबल वॉर अगेंस्ट वायरस है। कोरोना वायरस का मुकाबला करना मतलब एक युद्ध से लड़ना है। कोरोना वायरस धीरे-धीरे पैर प्रसार रहा है। राज्य में कोरोना वायरस के मामले बढ़ रहे हैं। इसलिए हमें चिंता करनी चाहिए। सरकार की ओर से जो सूचनाएं दी जा रही है उसका लोगों को पालन करना चाहिए। गुरुवार को मुख्यमंत्री ने सोशल मीडिया पर लाइव प्रसारण के जरिए यह बात कही। मुख्यमंत्री ने कहा कि आह्वान करने के बावजूद राज्य में लोग अभी अनावश्यक सफर कर रहे हैं। ट्रेन और बस की भीड़ कम हुई है लेकिन संभव हो तो सफर पूरी तरह बंद होना चाहिए। सरकार ट्रेन और बस को पूरी तरह से बंद करने का फैसला ले सकती है लेकिन सरकार की इच्छा पाबंदी लगाने की नहीं है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य की स्थिति को लेकर मैंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन से बातचीत की है। प्रधानमंत्री भी इस युद्ध से लड़ने के लिए उतर गए हैं। उन्होंने केंद्र की ओर से राज्य को मदद करने का भरोसा दिया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि सीमा पर जैसे जवान लड़ते हैं। उसी तरह से राज्य में डॉक्टर, नर्स, अस्पतालों के वार्ड बाय, पुलिस प्रशासन, बस ड्राइवर जैसी सरकारी मशीनरी के लोग अपने परिवार और अपनी चिंता किए बिना लोगों के लिए 24 घंटे लड़ रहे हैं। इसलिए इन सरकारी कर्मचारियों की मदद के लिए लोगों को घर में रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकारी मशीनरी पर दबाव कम करना लोगों की जिम्मेदारी है। मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन लोगों के हाथ में क्वारंटाइन का स्टांप लगा हुआ है ऐसे लोग भी घुम रहे हैं जो कि बिल्कुल गलत है। ऐसे लोगों को अपने घरों में रहना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में जीवनावश्यक वस्तुओं का पर्याप्त भंडारण है। इसलिए किसी नागरिक को डरने की जरूरत नहीं है। मुख्यमंत्री ने कहा कि मुझे मालूम नहीं कि आप लोगों में से कितने लोगों ने साल 1965 और साल 1971 का युद्ध देखा होगा लेकिन मैंने उस युद्ध का अनुभव किया है। युद्ध का अनुभव भयानक होता है। उसी तरह की स्थिति अभी है। मुझे विश्वास है कि छत्रपति शिवाजी महाराज का महाराष्ट्र कोरोना वायरस के संकट पर मात किए बिना नहीं रहेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैंने सिंगापुर में फंसे राज्य के लोगों से बात की है। विदेश से आने वाले लोगों को क्वारंटाइन की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि मुझे इस बात कि खुशी है कि सभी धार्मिक स्थलों पर दर्शन बंद कर दिया गया है।
राज्य में होगा लॉकडाऊन!
उधर जनसहयोग का आव्हान करते हुए गृहमंत्री अनिल देशमुख ने कहा है कि राज्य सरकार हर सख्त कदम उठाने को भी तैयार है। राज्य में लॉकडाऊन से भर परहेज नहीं किया जाएगा। अगर ऐसा हुआ तो लोगों को उनके घरों से बाहर नहीं निकलने दिया जाएगा। गृहमंत्री ने कहा कि सरकार के निर्देशों का सभी ने पालन करना चाहिए। निर्देशों का पालन नहीं करनेवालों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। कोरंटाइन अर्थात संदिग्धों की निगरानी के मामले में भी कोई कोताही नहीं बरती जाएगी। कोरंटाइन से बाहर भागनेवालों पर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी। गुरुवार को रविभवन में पत्रकारों से चर्चा में देशमुख बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि कोरोना के लिहाज से अगले कुछ दिन चुनौतीपूर्ण है। सरकार की ओर से दिए जा रहे निर्देशों का हर स्तर पर पालन हो रहा है। जनसहयोग मिल रहा है। प्रशासन के लोग भी अपनी जिम्मेदारी को अच्छी तरह से निभा रहे हैं। सरकार के निर्देशों को सही तरह से पालन हुआ तो स्थिति नियंत्रित रहेगी। अन्यथा आनेवाली स्थिति में कड़े निर्णय लेने पड़ सकते हैं।
सख्त कदम
कोरोना को लेकर समाज को भ्रमित कर रहे लोगों के विरुद्ध सरकार ने सख्त कदम उठाए हैं। अफवाह फैलानेवालों के सोशल मीडिया अकाउंट की जांच की जा रही है। पुलिस विभाग का साइबर सेल अफवाह फैलानेवालों को पकड़ने में जुटा है। कई लोगों के विरुद्ध कार्रवाई शुरु भी हो गई है। मास्क व सैनेटाइजर की कालाबाजारी रोकने का काम भी प्रशासन कर रहा है। शराब दुकान, पान दुकान से लेकर वे सभी प्रतिष्ठान निगरानी में हैं जिन्हे बंद रखने का निर्देश दिया गया है। निर्देश का पालन नहीं होने पर छापेमारी शुरु हो जाएगी।
कैदियों की जांच
राज्य में सभी कारागृह को भी विशेष निगरानी में रखा गया है। यहां के कारागृहों में 60 हजार से अधिक कैदी हैं। सभी कैदियों की कोरोना के लिहाज से स्वास्थ्य जांच करायी जाएगी। नए कैदियों को पुराने कैदियों से अलग रखे जाएंगे। पुलिस, फूड एंड ड्रग्स,स्वास्थ्य के अलावा अन्य सभी विभाग समन्वय के साथ कार्य कर रहे हैं। बाहर से आनेवालों को रोका जा रहा है। विमानतल पर स्क्रीनिंग हो रही है।
क्या होता है लॉकडाऊन
लॉकडाऊन की स्थिति में वे सारे प्रतिष्ठान बंद रहते हैं जहां 2 से अधिक लोग जमा हो। नागरिकों को उनके घरों से बाहर नहीं निकलने दिया जाता है। सुरक्षा व्यवस्था के लिए सेना को भी जिम्मेदारी सौंप दी जाती है। मरीज या संदिग्ध को अस्पताल ले जाने या कहीं और ले जाने का काम भी सैनिक करने लगते हैं। यह वह स्थिति रहती है जहां मानवाधिकार की शिकायतों की भी कोई सुनवाई नहीं होती है। कोई भी सार्वजनिक कार्यक्रम नहीं होने दिए जाते हैं।
कोरेंटाईन का उलंघन करने वालों के खिलाफ होगी कार्रवाई: देशमुख
राज्य के गृहमंत्री अनिल देशमुख ने एकांतवास (कोरेंटाईन) के आदेश का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई के आदेश दिए हैं। देशमुख ने कहा कि खुद और दूसरों की जान खतरे में डालने वाले आरोपियों के खिलाफ महामारी कानून के तहत मुकदमा दर्ज किया जाएगा। सरकार की सख्ती के बावजूद ऐसे मामले कम नहीं हो रहे हैं और गुरूवार को एक बार फिर घर पर एकांतवास के आदेश का उल्लंघन कर छह लोग सौराष्ट्र एक्सप्रेस में सफर करते पकड़े गए। फिलहाल विदेश से आने वाले जिन लोगों में बुखार या कोरोना बीमारी के लक्षण नहीं हैं उनकी हथेली के पिछले हिस्से पर ठप्पा लगाकर 14 दिन घर पर ही अलग थलग रहने के निर्देश दिए जा रहे हैं। लेकिन लोग लगातार इस आदेश का उलंघन कर रहे हैं। लगातार दूसरे दिन ऐसे लोग ट्रेन में यात्रा करते पकड़े गए हैं। पश्चिम रेलवे के जनसंपर्क अधिकारी गजानन म्हापुरकर ने बताया कि मुंबई सेंट्रल से वडोदरा जाने वाली सौराष्ट्र एक्सप्रेस (19015) में सवार छह यात्रियों पर टिकट निरीक्षक की नजर गई। बी-1 और बी-2 डिब्बों में सवार इन लोगों की हथेली के पिछले हिस्से में ठप्पा लगा था। मुंबई सेंट्रल स्टेशन पर सवार हुए इन लोगों के बारे में टिकट निरीक्षक ने संबंधित अधिकारियों को जानकारी दी। इसके बाद डॉक्टर ने मौके पर पहुंचकर यात्रियों की जांच की और सभी को बोरिवली स्टेशन पर उतार लिया गया। बुधवार को भी एकांतवास के आदेश का उल्लंघन कर गरीब एक्सप्रेस में सफर कर रहे चार यात्री पकड़े गए हैं। नागपुर, मुंबई समेत कई अस्पतालों से भी एकांतवास में रखे गए मरीजों के भागने के मामले सामने आएं हैं जिसके बाद गृहमंत्री देशमुख ने पुलिस को ऐसे लोगों के खिलाफ सख्ती बरतने के आदेश दिए हैं।
एसी लोकल बंद
पश्चिम और मध्य रेलवे ने कोरोना के खतरे को देखते हुए एसी लोकल ट्रेनें शुक्रवार से अगले आदेश तक बंद कर दीं हैं। पश्चिम रेलवे के अलावा मध्य रेलवे ने भी शुक्रवार से उपनगर ठाणे-वाशी/नेरुल/पनवेल के बीच चलने वाली एसी लोकल की 16 फेरियों को 31 मार्च तक बंद करने का ऐलान किया है। इसके अलावा मध्य रेलवे ने यात्रियों की कमी का हवाला देते हुए लंबी दूरी की 23 अन्य गाड़ियों को भी 31 मार्च तक रद्द करने का आदेश दिया है।
रेलवे की कमाई में कमी
कोरोना के चलते कुछ सरकारी कार्यालयों, पर्यटन और धार्मिक स्थलों के बंद होने का असर रेलवे की कमाई पर भी पड़ा है। पश्चिम रेलवे ने महीने के पहले सोमवार यानी 2 मार्च को 51 लाख 3 हजार 450 यात्रियों से 3 करोड़ 1 लाख 80 हजार 901 रुपए कमाए थे। जबकि बुधवार 18 मार्च तक यात्रियों की संख्या करीब आधी घटकर 26 लाख 29 हजार 974 हो गई जबकि कमाई भी 1 करोड़ 48 लाख 28 हजार 172 रुपए की ही रही। बुधवार को यात्रियों की संख्या सबसे कम रही।
घट रही रेल यात्रियों की संख्या
दिनांक यात्री आमदनी
02/03/2020 5103450 30180901
09/03/2020 3386759 20907086
16/03/2020 4075705 23466187
18/03/2020 2629974 14828172