अव्यवस्था: ‘एबी’ पॉजिटिव ब्लड के लिए भटक रहे हैं मरीजों के परिजन

सरकारी ब्लड बैंक में नहीं मिल रहा ब्लड

Bhaskar Hindi
Update: 2023-11-15 08:51 GMT

डिजिटल डेस्क, नागपुर। वाशिम जिले के कारंजा के एक गांव में रहने वाली बारहवीं कक्षा में पढ़ रही 17 साल की किशोरी 13 नवंबर से मेडिकल में भर्ती है। सालभर पहले इस किशोरी के गर्भाशय के ऊपर गांठ आयी थी। ऑपरेशन कर गांठ निकाली गई थी। किशोरी के रिश्तेदार ने बताया कि, ऑपरेशन के बाद से उसके शरीर का रक्त कभी-कभी अचानक कम हो जाता है, इसलिए हर तीन महीने में उसे रक्त चढ़ाना पड़ता है। रविवार, 12 नवंबर को इस किशोरी के पेट में असह्य दर्द उमड़ा, तो उसे यवतमाल के सरकारी अस्पताल में भर्ती किया गया। अगले दिन सोमवार को उसे शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय व अस्पताल (मेडिकल) में रेफर किया गया। डॉक्टरों ने किशोरी को रक्त की आवश्यकता बताते हुए एबी पॉजिटिव रक्त के चार यूनिट तैयार रखने को कहा। जब इस रक्त के लिए मेडिकल की आदर्श ब्लड बैंक पहुंचे, तो पता चला कि, यह ब्लड ग्रुप का रक्त स्टॉक में नहीं रहता है, इसलिए परिजनों ने जैसे-तैसे पैसे का जुगाड़ कर एक निजी बैंक से 2000 रुपए में एक यूनिट का जुगाड़ किया। कल और एक यूनिट रक्त की आवश्यकता है, लेकिन इस ब्लड ग्रुप का डोनर नहीं मिला है। दरअसल, यह रक्त दुर्लभ होने से कई बार मरीजों के सामने यह समस्या आती है।


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