आरक्षण की मांग: न्याय नहीं मिला, तो चुनाव में भुगतने होंगे परिणाम

  • विधायक विकास कुंभारे ने सरकार को दी चेतावनी
  • आरक्षण की मांग
  • हलबा समाज का प्रदर्शन
  • आरक्षण की मांग को लेकर हलबा समाज का प्रदर्शन

Bhaskar Hindi
Update: 2023-12-31 14:29 GMT

डिजिटल डेस्क, नागपुर. हलबा समाज को आरक्षण मिलना चाहिए, इसलिए वर्षों से संघर्ष जारी है। इसके लिए पूरे समाज द्वारा एकजुट होकर मोर्चा, आंदोलन, धरना-प्रदर्शन किया जा रहा है, लेकिन सरकारें इस समाज का उपयोग केवल वोट बैंक के रूप में ही करती आई हैं। आरक्षण को लेकर कोई भी सरकार व पार्टी सकारात्मक कदम नहीं उठा रही। यह समाज महाराष्ट्र के अलावा मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, उत्तरप्रदेश, तेलंगाना राज्य में भी है। एक बार फिर से राष्ट्रीय आदिम कृति समिति के संयुक्त बैनर तले पिछले 5 दिनों से गोलीबार चौक में श्रृंखला अनशन किया जा रहा है।

परिणाम भुगतने की चेतावनी

आंदोलनकारी अपना संवैधानिक आरक्षण का अधिकार मांग रहे हैं। उनकी मांग है कि जो लोग अधिसंख्य कर्मचारी के रूप में सेवा दे रहे हैं, उन्हें सेवा में नियमित करें। जिन्हें नौकरी से निकाला गया है, उन्हें फिर से नौकरियां दी जाएं। विधायक विकास कुंभारे ने सरकार को चेतावनी दी है कि यदि समाज के साथ न्याय नहीं किया गया, तो इसका परिणाम आगामी लोकसभा, विधानसभा व महानगर पालिका चुनाव में भुगतना पड़ेगा। जब तक समाज को न्याय नहीं मिलेगा, तब तक श्रृंखला अनशन शुरू रहेगा। अनशनकर्ताओं में पूर्व नगरसेवक प्रवीण भिसीकर, प्रेमलाल भांदककर, कल्पक भनारकर, राजेश घोड़पाले, रमेश पुणेकर, भास्कर पराते, हेमंत बरडे, कल्पक भनारकर, राजेश घोडपागे, संजय मेंढेकर, सोनू वर्मा, अमृत भानुसे, चंद्रकांत वाघ, मोहन कुंभारे, दिलीप धकाते, प्रवीण सोनकुसरे, योगेश गोन्नडे, अर्जुन मोहाडीक, पुष्पा किटाडीकर, रविशंकर कुंभारे, दत्ताजी येवलेकर, महादेव निखार, मनोज हेडाऊ, भोला बैसवारे,मुकेश बारापात्रे, राजेश बोकडे आदि का समावेश था।

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