निशाना: दंगा भड़काने की भाषा बोल रहे हैं पवार, मन में क्या है स्पष्ट करें - बावनकुले
- भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले का बयान
- आरक्षण मामले पर कांग्रेस को ठहराया जिम्मेदार
- फडणवीस-देशमुख विवाद पर कहा - देशमुख ढ़ाई साल तक चुप क्यों रहे
डिजिटल डेस्क, नागपुर। महाराष्ट्र में आरक्षण विवाद को लेकर भाजपा ने एक बार फिर राकांपा अध्यक्ष शरद पवार पर निशाना साधा है। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा है-विधानसभा चुनाव के पहले शरद पवार राज्य में दंगा भड़काने की भाषा बोल रहे हैं। पवार, महाराट्र के वरिष्ठ नेता हैं। अलग-अलग आंदोलन कर समाज में तनाव निर्माण का प्रयास कर रहे लोगों को पवार ने रोकना चाहिए। लेकिन वे दंगे की भाषा बोल रहे हैं। उनके मन में क्या है, उन्होंने स्पष्ट करना चाहिए। सोमवार को बावनकुले ने पत्रकारों से चर्चा की।
जनता जानती है
बावनकुले ने कहा-राज्य में जो कुछ राजनीति हो रही है उसे जनता जानती है। ओबीसी व मराठा आरक्षण के मुद्दे पर शरद पवार ने मध्यस्थ की भूमिका लेने की आवश्यकता है। लेकिन वे चुनाव को ध्यान में रखते हुए उकसावे की भाषा बोल रहे हैं। हम आज भी आरक्षण के संबंध में चर्चा को तैयार हैं। उन्होंने राज्य के वरिष्ठ नेता के नाते इस मामले में नेतृत्व करना चाहिए। राज्य सरकार ने आरक्षण के संबंध में बैठक बुलायी तो विपक्ष व कांग्रेस के नेता बैठक में शामिल नहीं हुए। केवल केवल बाहर से सरकार पर आरोप लगाकर राजनीतिक हित साधने का प्रयास कर रहे हैं। कांग्रेस समाज में तनाव निर्माण करना चाहती है। आरक्षण के विषय को अटकाकर रखने के लिए कांग्रेस जिम्मेदार है। महायुति के नेता एकत्र बैठक निर्णय ले रहे है इससे जनता को लाभ मिलेगा। राज्य में महायुति की सरकार आएगी।
फडणवीस को बदनाम करने का प्रयास
मराठा आरक्षण के मामले में उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को बदनाम करने का प्रयास किया जा रहा है। प्रकाश आंबेडकर राजनीति के लिए कुछ भी नहीं बोल रहे हैं। फडणवीस को खलनायक बनाने का प्रयास किया जा रहा है। फडणवीस ने ईमानदारी से मराठा आरक्षण के संबंध में भूमिका ली है, लेकिन राजनीतिक दलों के लोग उनके कद को छोटा करने का प्रयास कर रहे हैं। अनिल देशमुख कह रहे हैं कि वे गृहमंत्री थे तो देवेंद्र फडणवीस ने उनपर दबाव लाने का प्रयास किया। लेकिन सवाल यह है कि देशमुख ढाई साल तक चुप क्यों रहे। देशमुख ने राजनीति के बजाय राज्य के विकास का विचार करना चाहिए। उनके निराधार आरोपों से लोगों में भ्रम फैल रहा है।