नागपुर: गर्मी बढ़ते ही ओपीडी में बढ़ रही भीड़, त्वचा रोग विभाग में मरीजों की संख्या ज्यादा
- धूप से एलर्जी सहित अन्य रोगों के मरीज आ रहे
- त्वचा रोग विभाग में बढ़ मरीज
डिजिटल डेस्क, नागपुर. गर्मी बढ़ते ही सरकारी अस्पतालों की ओपीडी में मरीजों की भीड़ बढ़ने लगी है। जिले के दो प्रमुख बड़े सरकारी अस्पतालों में करीब 300 मरीजों की संख्या बढ़ चुकी है। शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय व अस्पताल (मेडिकल) व इंदिरा गांधी शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय व अस्पताल (मेयो) की मिलाकर प्रतिदिन की औसत ओपीडी 3700 है। अब यह बढ़कर 4000 तक पहुंच गई है। जैसे-जैसे गर्मी बढ़ेगी, ओपीडी में मरीजों की संख्या और बढ़ेगी।
औसत 300 मरीज बढ़े
मेडिकल की ओपीडी में हर राेज औसत 2100 मरीज जांच व उपचार के लिए आते हैं। यह संख्या कभी कम या अधिक होती है। मौसम बदलते ही ओपीडी की संख्या पर असर होता है। सूत्रों के अनुसार अब मेडिकल में 2300 से अधिक मरीज जांच व उपचार के लिए आने लगे हैं। वहीं मेयो अस्पताल में औसत ओपीडी 1600 है। यहां भी 1700 से अधिक मरीज आने लगे हैं। कुल मिलाकर दोनों सरकारी अस्पतालों की औसत 300 मरीजों की संख्या बढ़ चुकी है।
धूप से एलर्जी सहित अन्य रोगों के मरीज आ रहे, उष्माघात का एक भी मरीज भर्ती नहीं
पुख्ता व्यवस्था की जाएगी
ओपीडी का समय सुबह 8 से दोपहर 2 बजे तक रहता है। इस अवधि में जितने मरीज आते हैं, उन सभी के केस पेपर तैयार कर उपचार किया जा रहा है। अस्पताल प्रबंधन आनेवाले दिनों में ओपीडी का हाल देखते हुए व्यवस्था को और पुख्ता की जानेवाली है। ओपीडी में आनेवाले मरीजों में चिकन पॉक्स, गर्मी के कारण खुजली, टाइफाइड, डिहाइड्रेशन, बुखार, त्वचा व आंखों का संक्रमण आदि के मरीजों की संख्या बढ़ चुकी है।
त्वचा रोग विभाग में बढ़ मरीज
गर्मियों के दिनों में सनबर्न व अन्य त्वचा विकारों की एलर्जी होती है। मेडिकल के त्वचा रोग विभाग की औसत ओपीडी 250 प्रतिदिन है। अब यह संख्या 300 से उपर पहुंच चुकी है। इस विभाग में भी गर्मियों के कारण त्वचा विकार के मरीजों की संख्या बढ़ी है। मरीजों में धूप से एलर्जी, रैशेस, झाइयां, मुहांसे, घमौरियां, सनबर्न आदि के मरीज अधिक आ रहे हैं। इसके अलावा आंखों की एलर्जी के मरीज भी बढ़ चुके हैं। इसमें आंखें लाल होना समेत अन्य एलर्जी का समावेश है।
उष्माघात से बचाव के
लिए कोल्ड वार्ड
मेयाे व मेडिकल में उष्माघात से बचाव के लिए कोल्ड वार्ड तैयार किया गया है। यहां 10-10 बिस्तरों की व्यवस्था के साथ 24 घंटे अलग-अलग टीम कार्यरत रहेगी। यह वार्ड पूरी तरह एयरकूल्ड है। करीब हफ्ते भर पहले ही यह वार्ड तैयार किए गए हैं। जिला कार्यालय के निर्देशानुसार तैयारी की गई है। वहीं मनपा के आइसोलेशन अस्पताल में भी कोल्ड वार्ड तैयार है। फिलहाल उष्माघात का एक भी मरीज भर्ती नहीं हुआ है। अस्पताल प्रबंधन अलर्ट मोड पर है।