मेडिकल नर्सिंग: जांच के लिए नहीं पहुंचीं 50% छात्राएं, अचानक बुलाने से छात्राओं में निराशा

  • छात्रा ऋतुजा बागड़े की आत्महत्या मामले में जांच के लिए छात्राओं को बुलाया
  • 50 फीसदी छात्राएं भी पहुंच नहीं पायी

Bhaskar Hindi
Update: 2024-04-12 12:57 GMT

डिजिटल डेस्क, नागपुर. मेडिकल की नर्सिंग छात्रा ऋतुजा बागड़े की आत्महत्या मामले में जांच के लिए छात्राओं को बुलाया गया था, लेकिन 50 फीसदी छात्राएं भी पहुंच नहीं पायी। सूत्रों के अनुसार 10 अप्रैल को 20 छात्राएं ही उपस्थित हो पाई। बता दें कि बीएससी नर्सिंग प्रथम वर्ष की छात्रा ऋतुजा ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। 3 अप्रैल की सुबह इस घटना की जानकारी मिली।

इसके बाद बड़ी संख्या में छात्राओं ने छुट्‌टी ले ली थी। 90 फीसदी छात्रावास खाली होने के बाद कॉलेज प्रशासन ने 21 अप्रैल तक गर्मियों की छुटि्टयों की घोषणा कर दी। सभी छात्राएं अपने घर चली गईं। इस बीच तीन दिन पहले ही सभी छात्राओं को पूछताछ के लिए 10 अप्रैल को जांच समिति के सामने उपस्थित रहने की सूचना दी गई।

नागपुर व विदर्भ की लगभग 20 छात्राएं जैसे-तैसे जांच समिति के सामने उपस्थित हो पाईं। अन्य 29 छात्राएं दूसरे राज्यों की होने से उपस्थित नहीं हो पाईं। कॉलेज प्रशासन द्वारा अचानक बुलाए जाने से छात्राओं में निराशा का माहौल है। बताया गया है कि अन्य छात्राओं को 12 अप्रैल को बुलाया गया है।

कॉलेज प्रशासन ने छात्रा की आत्महत्या को लेकर जांच समिति गठित की है। समिति की रिपोर्ट अधिष्ठाता के माध्यम से चिकित्सा शिक्षा संचालक को भेजी जाने वाली है।


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