लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित
- लोकसभा में आधे से ज्यादा समय हुआ बर्बाद
- लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली. 20 जुलाई से प्रारंभ संसद का मॉनसून सत्र शुक्रवार को संपन्न हो गया। लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही आज अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई। मॉनसून सत्र के दौरान लोकसभा की उत्पादकता 45 प्रतिशत और राज्यसभा की उत्पादकता 63 प्रतिशत रही। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि मॉनसून सत्र के दौरान कुल 17 बैठकें हुईं। इस दौरान लोकसभा में 44 घंटे 15 मिनट कामकाज हुआ।
अविश्वास प्रस्ताव पर 20 घंटे हुई चर्चा
श्री बिरला ने बताया कि सदन में कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई द्वारा पेश मंत्रिपरिषद में अविश्वास प्रस्ताव पर 8 अगस्त से 10 अगस्त के बीच चर्चा हुई, जिसका उत्तर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दिया। यह चर्चा 19 घंटे 59 मिनट चली और इस चर्चा में 60 सदस्यों ने भाग लिया। लोकसभा अध्यक्ष ने बताया कि सत्र के दौरान लोकसभा में 20 सरकारी विधेयक पेश किए गए और 22 विधेयक पारित किए गए। इस दौरान 50 तारांकित प्रश्नों का मौखिक उत्तर दिया गया। साथ ही नियम 377 के तहत कुल 361 मामले उठाए गए। उन्होंने बताया कि कुल 1209 पत्रों को सदन के पटल पर रखा गया।
रास में 50 घंटे 21 मिनट हुआ कामकाज
राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने बताया कि सदन की कुल 17 बैठकें हुई और इस दौरान 50 घंटे 21 मिनट का कामकाज हुआ। इस दौरान कई विधेयकों को पारित किया गया। संसदीय कार्य मंत्री प्रल्हाद जोशी ने बताया कि मॉनसून सत्र के दौरान लोकसभा की उत्पादकता 45 प्रतिशत और राज्यसभा की 63 प्रतिशत रही। उन्होंने बताया कि लोकसभा में कुल 22 विधेयक और राज्यसभा में 25 विधेयक पारित किए गए। आईपीसी दंड प्रक्रिया संहिता को बदलने के लिए गृह मंत्रालय के तीन विधेयक और साक्ष्य अधिनियम को गृह संबंधी स्थायी समिति को भेजा गया है। संसदीय कार्य मंत्री जोशी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि दुर्भाग्य से राजनीतिक कारणों से विपक्ष ने विधेयकों पर चर्चा में भाग नहीं लिया। उसने सिर्फ दिल्ली सेवा विधेयक में भाग लिया।