कार्रवाई: रेलवे के ई-टिकट की कालाबाजारी, शातिर दलाल गिरफ्तार
- ‘नेक्सस’ सॉफ्टवेयर से 30 सेकंड में निकालता था कन्फर्म टिकट
- 33,187 रुपए के टिकट बरामद
- चकमा देने के लिए इस्तेमाल करता था 64 यूजर आईडी
डिजिटल डेस्क, मुंबई। मध्य रेलवे आरपीएफ के आईटी विभाग ने ई-टिकटों की कालाबाजारी के मामले में एक दलाल को गिरफ्तार किया है। आरोपी ‘नेक्सस’ सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल कर चंद सेकंड में ही रेलवे के सर्वर से कन्फर्म टिकट निकाल लेता था। ऊंची कीमत पर ये टिकट वह ग्राहकों को बेचता था। आईटी सेल को चकमा देने के लिए आरोपी ने 64 फर्जी यूजर आईडी बना रखी थी। तह तक पहुंचने के लिए मामले की जांच जारी है।
वरिष्ठ मंडल वाणिज्यक प्रबंधक रॉबिन कालिया के मार्गदर्शन में आरपीएफ की एंटी टाउट टीम ने चूनाभट्टी स्थित आरोपी संदीप एस. चरकारी के घर छापा मारा। आरोपी टिकट निकालने के लिए कब से इस सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल कर रहा और अब तक कितने टिकट निकाल चुका इसकी जांच की जा रही है। आरोपी से 33,187 रुपए के 17 ई-टिकट बरामद किए गए हैं।
कैसे करता था काम
रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) के एक अधिकारी ने बताया कि रेलवे का सर्वर शुरू होने से पहले आरोपी सॉफ्टवेयर की मदद से यात्रियों के टिकट फॉर्म भर देता था। तत्काल बुकिंग शुरू होने पर बटन (क्लिक) दबाते ही रेलवे के सर्वर पर सारे फॉर्म ऑटो फिल हो जाते थे। दूसरी क्लिक में कन्फर्म टिकट निकल जाता था।
सॉफ्टवेयर की खूबी
उक्त सॉफ्टवेयर की कई खूबियां हैं। कंप्यूटर का मॉनिटर बड़ा होने की दशा में नेक्सस की मदद से स्क्रीन पर कई विंडो एक साथ खुलती हैं। इससे एक साथ कई फॉर्म भरे जा सकते हैं, जिससे टिकट निकालने में आसानी होती है।
आरोपी कब से इस सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल कर रहा और उसने अब तक कितने टिकट निकाले हैं, इसकी जांच की जा रही है। आरोपी के खिलाफ भारतीय रेलवे एक्ट की धरा 143 के प्रावधानों के तहत मामला दर्ज किया गया है।