वैज्ञानिकों ने तैयार किया 3डी प्रिंटेड वैक्सीन पैच, नहीं सहना होगा सुई का दर्द
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। बहुत सारे लोगों को सुई से डर लगता है, लेकिन अब सुई से डरने की जरूरत नहीं है। क्योंकि अमेरिका के वैज्ञानिक ने 3डी प्रिंटेड वैक्सीन पैच तैयार किया है। इस वैक्सीन पैच को अमेरिका की स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी और यूनिवर्सिटी ऑफ नॉथ कैरोलिना ने मिलकर तैयार किया है। बहुत जल्द ही इसका ट्रायल शुरू किया जाएगा। इसका पहला ट्रायल जानवरों पर होगा। इसके लिए वैज्ञानिकों ने अमेरिका में एप्रूवल मांगा है।
इम्यून रिस्पॉन्स है तेज
वैज्ञानिकों के अनुसार सुई से टीका लगने के मुकाबले यह वैक्सीन पैच दस गुना तेज इम्यून रिस्पॉन्स देता है। यह बात सामने आई है कि शरीर में वैक्सीन पहुंचने पर टी—सेल्स और एंटीबॉडी का रिस्पॉन्स हाथों में इंजेकशन से लगवाने के मुकाबले ज्यादा तेज हो रहा है। पैच की मदद से स्किन के इम्यून सेल्स तक वैक्सीन सीधे पहुंचती है। शोधकर्ताओं के अनुसार ट्रायल में पैच से चूहे को वैक्सीन लगाई गई, जिसमें देखा गया कि चूहे की बॉडी में एंटीबॉडी का रिस्पॉन्स बहुत फास्ट था।
वैक्सीन पैच ऐसे करता है काम
वैक्सीन पैच में 3डी प्रिंटेड माइक्रोनिडिल (सुई) लगी होती है, जिसकी मदद से पैच को स्किन पर रखकर वैक्सीन लगाते हैं। सुई बेहद बारीक होती है। ऐसे में वैक्सीन स्किन से होते हुए शरीर में पहुंचती है। इससे आम सुई के मुकाबले कम दर्द होता है। स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी की प्रोफेसर जोसेफ एम डीसिमोन का कहना है कि बदलते हुए दौर में तकनीक ने काफी बुलंदिया हासिल कर ली हैं। ऐसे में सुई से होने वाले दर्द को कम करने की कोशिश की गई है। इसकी खासबात यह है कि इसको व्यक्ति खुद लगा सकेंगे।
पौधा खाने से शरीर में पहुंचेगी वैक्सीन
तकनीक का स्तर बढ़ाने के लिए साइंस कई तरह के प्रयास कर रही है। ऐसे में अमेरिका की यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया रिवरसाइड के वैज्ञानिकों ने ऐसा पौधा विकसित कर रहे हैं, जिसे खाने के बाद इंसान की बॉडी में वैक्सीन पहुंच जाएगी। मिली जानकारी के अनुसार इसकी शुरूआत कोविड वैक्सीन से होगी। कैलिफोर्निया यूनिवर्सिटी के शोधकर्ता जुआन पाब्लो के अनुसार एक पौधा एक इंसान के लिए mRNA को डेवलप करेगा और उसे वैक्सीनेट किया जा सकेगा। इसके लिए वह अपने बगीचे में पालक और लेट्टुस उगा रहे हैं।
सुई के डर से 10% लोगों ने नहीं लगवाई वैक्सीन
ऑक्सफोर्ड कोरोनावायरस एक्सप्लेनेशंस, एटीट्यूड एंड नैरेटिव्स के सर्वे में यह बात सामने आई है कि इंजेक्शन के डर से दस प्रतिशत लोगों ने कोरोना की वैक्सीन नहीं लगवाई है। सुई से डरने वाले इंसान को इंजेक्शन के नाम से ही ब्लड प्रेशर गिरने लगता है। वहीं घबराहट और बेचैनी भी बढ़ जाती है।
सुई से सबसे ज्यादा डरते हैं युवा
इंग्लैंड में हुए एक सर्वे में यह बात सामने आई है कि एक चौथाई लोगों को सुई से डर लगता है। वहीं अगर देखा जाए तो सुई से सबसे ज्यादा युवा वर्ग को डर लगता है। वैक्सीन के नाम से ही युवाओं को घबराहट होने लगती है।
Created On :   29 Sept 2021 3:31 PM IST