केंद्रीय शिक्षा मंत्री के समक्ष रखा गया पीएचडी, एडहॉक टीचर्स और ग्रांट का मुद्दा

The issue of PhD, adhoc teachers and grants placed before the Union Education Minister
केंद्रीय शिक्षा मंत्री के समक्ष रखा गया पीएचडी, एडहॉक टीचर्स और ग्रांट का मुद्दा
नई दिल्ली केंद्रीय शिक्षा मंत्री के समक्ष रखा गया पीएचडी, एडहॉक टीचर्स और ग्रांट का मुद्दा

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली । दिल्ली विश्वविद्यालय के विभिन्न कॉलेजों में कार्यरत हजारों तदर्थ शिक्षकों के रेगुलराइजेशन का मुद्दा गुरुवार को केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान के सामने रखा गया। इसके साथ ही एसोसिएट प्रोफेसर और प्रोफेसर पद पर प्रमोशन के लिए पीएचडी की अनिवार्यता से छूट का बड़ा विषय भी शिक्षा मंत्री के समक्ष लाया गया है। दिल्ली विश्वविद्यालय के नेशनल डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट के अध्यक्ष व जाने माने प्रोफेसर डा ए के भागी, महासचिव डॉ. वी एस नेगी व डॉ. बिजेंद्र कुमार ने गुरुवार को इस विषय पर केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने दिल्ली युनिवर्सिटी व इसके कॉलेजों में हजारों की संख्या में कार्यरत तदर्थ शिक्षकों के रेगुलराइजेशन व समायोजन के मुद्दे को केंद्रीय मंत्री के सामने रखा।

इस विषय पर एक विस्तृत ज्ञापन शिक्षा मंत्री को सौंपा गया। इसमें रोस्टर का अनुपालन करते हुए कार्यरत तदर्थ शिक्षकों का रेगुलराइजेशन, यूजीसी रेगुलेशन 2018 में शिक्षक नियुक्ति के लिए न्यूनतम अर्हता हेतु बनी विसंगति समिति की रिपोर्ट, एसोसिएट प्रोफेसर और प्रोफेसर पद पर प्रमोशन के लिए पीएचडी की अनिवार्यता व कॉलेज लेवल पर अन्य शर्तों से छूट का विषय है। गौरतलब है कि केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय कुछ समय के लिए सहायक प्रोफेसर की नियुक्ति में पीएचडी की छूट देने का ऐलान कर चुका है।

प्रोफेसर डा ए के भागी ने बताया कि शिक्षा मंत्री ने नेशनल डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट द्वारा उठाए गए मुद्दों पर सकारात्मक सहयोग का आश्वासन दिया है। वहीं इस दौरान केंद्रीय शिक्षा मंत्री को दिल्ली सरकार के वित पोषित बारह कॉलेजों की फंडिंग की समस्या से भी अवगत कराया गया। दिल्ली विश्वविद्यालय के शिक्षकों का कहना है कि दिल्ली सरकार द्वारा वित्त पोषित 12 कॉलेजों को दिल्ली सरकार की ओर से अपर्याप्त ग्रांट दी जा रही है। कई बार ग्रांट रिलीज करने में महीनों का विलंब होता है जिससे शिक्षकों को कई महीनों तक वेतन नहीं मिल पाता है। वहीं दिल्ली सरकार द्वारा जो ग्रांट रिलीज की जाती है उससे शिक्षकों और अन्य कर्मचारियों के वेतन का भुगतान बमुश्किल हो पाता है। इन कॉलेजों में गेस्ट टीचर्स, कन्ट्रक्चुअल कर्मचारी भी हैं। इसके अलावा केंद्रीय मंत्री के समक्ष शारीरिक शिक्षा और पुस्तकालय अध्यक्ष से जुडे मुद्दे, ओएमएसपी इंस्ट्रक्टर व अन्य अकादमिक स्टाफ के लिए प्रमोशन के मुददे भी रखे गए हैं।

(आईएएनएस)

Created On :   25 Nov 2021 8:30 PM IST

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