Bhaum Pradosh Vrat: यह व्रत हर महीने में 2 बार आता है, जानिए पूजा की मुहूर्त और विधि

- आज 11 मार्च को भौम प्रदोष है
- व्रत से जीवन में समृद्धि आती है
- भूमि के पुत्र माने जाते हैं भौम
डिजिटल डेस्क, भोपाल। सनातन धर्म में व्रतों का बहुत महत्व है। वहीं हर महीने की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है। दिन के अनुरूप इसे अलग- अलग नामों से जाना जाता है। फिलहाल, आज 11 मार्च 2025, मंगलवार को यह व्रत है, जिसे भौम प्रदोष (Bhaum Pradosh Vrat) कहा जाता है।माना जाता है कि इस व्रत को रखने से जीवन में समृद्धि आती है। यह व्रत हर प्रकार के कर्ज से मुक्ति देता है।
पंडित जी कहते हैं कि, भौम भूमि के पुत्र हैं। इस दिन के स्वामी हनुमानजी हैं जो रुद्र के ग्यारहवें अवतार माने जाते हैं। प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा होती है। लेकिन भौम प्रदोष में शिवजी के साथ हनुमान जी की पूजा भी की जाती है। इसलिए इस दिन का अपना विशेष महत्व हैं। आइए जानते हैं शुभ मुहूर्त और पूजा की विधि...
पूजा की सामग्री
फूल, पंच फल, पंच मेवा, बिल्वपत्र, धतूरा, भांग, बेर, रत्न, दक्षिणा, कुशासन, दही, शुद्ध देशी घी, शहद, गंगा जल, पंच रस, इत्र, गंध रोली, मौली जनेऊ, पंच मिष्ठान्न, जौ की बालें, तुलसी दल, गाय का कच्चा दूध, कपूर, धूप, दीप, रूई, मलयागिरी, चंदन और शिव व मां पार्वती की श्रृंगार की सामग्री आदि।
व्रत विधि
- त्रयोदशी के दिन प्रदोष काल में यानी सूर्यास्त से तीन घड़ी पूर्व, शिव जी का पूजन करें।
- भौम प्रदोष व्रत की पूजा शाम 4ः30 बजे से लेकर शाम 7ः00 बजे के बीच की जाती है।
- जातक संध्या काल को फिर से स्नान कर स्वच्छ श्वेत वस्त्र धारण कर लें।
- पूजा स्थल अथवा पूजा गृह को शुद्ध कर लें और यदि व्रती चाहे तो शिव मंदिर में भी जा कर पूजा कर सकते हैं।
- पांच रंगों से रंगोली बनाकर मंडप तैयार करें और पूजन की सभी सामग्री एकत्रित कर लें।
- कलश अथवा लोटे में शुद्ध जल भर लें और कुश के आसन पर बैठ कर शिव जी की पूजा विधि विधान से करें।
- ऊँ नमः शिवाय मन्त्र का जप करते हुए शिव जी को जल अर्पित करें।
- इसके बाद दोनों हाथ जोड़कर शिव जी का ध्यान करें।
- ध्यान के बाद भौम प्रदोष व्रत की कथा सुने अथवा सुनाएं कथा समाप्ति के बाद हवन करें।
- इसके बाद शिव जी की आरती करें।
डिसक्लेमरः इस आलेख में दी गई जानकारी अलग अलग किताब और अध्ययन के आधार पर दी गई है। bhaskarhindi.com यह दावा नहीं करता कि ये जानकारी पूरी तरह सही है। पूरी और सही जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ (ज्योतिष/वास्तुशास्त्री/ अन्य एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें।
Created On :   10 March 2025 6:12 PM IST