राहुल गांधी के बाद क्या अब सदस्यता गंवाने की दिग्विजय सिंह की बारी है? मानहानि मामले में बढ़ चुकी हैं दिग्विजय सिंह की मुश्किलें, छिन सकती है संसद सदस्यता!

मानहानि बनेगी गले की फांस? राहुल गांधी के बाद क्या अब सदस्यता गंवाने की दिग्विजय सिंह की बारी है? मानहानि मामले में बढ़ चुकी हैं दिग्विजय सिंह की मुश्किलें, छिन सकती है संसद सदस्यता!

Bhaskar Hindi
Update: 2023-04-27 10:02 GMT
राहुल गांधी के बाद क्या अब सदस्यता गंवाने की दिग्विजय सिंह की बारी है? मानहानि मामले में बढ़ चुकी हैं दिग्विजय सिंह की मुश्किलें, छिन सकती है संसद सदस्यता!

डिजिटल डेस्क, भोपाल। कांग्रेस नेता राहुल गांधी की सदस्यता जाने पर अभी विवाद थमा ही नहीं था कि इसी बीच पार्टी के कद्दावर नेता और राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह की लोकसभा सदस्यता पर तलवार लटकती हुई नजर आ रही है। जिस पर बीजेपी नेता राहुल गांधी के बहाने जैसा गुरू वैसा चेला कहकर दिग्विजय पर निशाना साध रहे हैं। एक मानहानी मामले में राजधानी भोपाल की जिला अदालत ने सिंह पर आरोप तय कर दिए हैं। जिस पर अगली सुनवाई 1 जुलाई को होने वाली है।

अगर दिग्गी पर आरोप सिद्ध हो जाते हैं और कोर्ट दो साल से की सजा सुना देती है तो उनकी लोकसभा सदस्यता रद्द हो जाएगी। जिसके बाद वो 6 सालों तक कोई भी चुनाव नहीं लड़ सकते हैं। आपको बता दें कि, सिंह पर भारतीय जनता पार्टी के खजुराहो से सांसद और मध्य प्रदेश ईकाई के अध्यक्ष वीडी शर्मा ने मानहानि का केस ठोका है। जिसकी वजह से दिग्विजय के सामने नई मुसीबत आ खड़ी हुई है। 

क्या है मामला?

दरअसल, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने वीडी शर्मा पर आरोप लगाए थे कि मप्र भाजपा अध्यक्ष(वीडी शर्मा) व्यावसायिक परीक्षा मंडल घोटाले में बिचौलिया रहे थे। जिसमें काफी भ्रष्टाचार हुआ है। जिस पर पलटवार करके शर्मा ने सिंह को कहा था कि आज तक किसी जांच एजेंसी ने मुझे इस घोटाले को लेकर न कोई समन दिया न ही किसी तरह की कोई पूछताछ की। इस घोटाले से मेरा कोई लेना देना नहीं हैं। शर्मा और सिंह में वार पलटवार का दौर चलता रहा। इसी बीच वीडी शर्मा के द्वारा दिग्विजय सिंह पर मानहानि का केस ठोक दिया गया। जिसकी सुनवाई जिला एवं सत्र न्यायालय भोपाल में चल रही है। इसी मामले पर बीते बुधवार यानी 26 अप्रैल को सुनवाई हुई। अब इसी मानहानि मुकदमे में दिग्विजय सिंह पर आईपीसी की धारा 500 के तहत आरोप कोर्ट में तय हो गए हैं। जिसकी अगली सुनवाई 1 जुलाई को होने वाली है। 

 दिग्विजय का क्या होगा?

अगर दिग्विजय सिंह पर धारा 500 के तहत आरोप सिद्ध हो जाते हैं वो भी दो साल की सजा के साथ 6 साल तक किसी भी चुनाव में भाग नहीं लेंगे। साथ ही में दिग्विजय सिंह को अपनी सदस्यता भी गंवानी पड़ सकती है। जबकि कोर्ट में आरोप सिद्ध नहीं होते हैं तो बिना किसी समस्या के वो इस मुसीबत से निकल सकते हैं। 

दिग्विजय के बहाने राहुल गांधी पर निशाना

दिग्विजय सिंह को धारा 500 के तहत आरोपी बनाए जाने पर मध्य प्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने सिंह और राहुल गांधी पर तंज कसा है। उन्होंने कहा, "जैसा गुरु वैसा चेला, होवे राजनीति में खेलम खेला. हमें न्यायपालिका पर पूरा भरोसा है. जिस तरह से गुजरात की अदालत ने फैसला दिया है उम्मीद है कि भोपाल की अदालत भी न्यायसंगत फैसला लेगी।"

राहुल की क्यों गई सदस्यता?

पिछले महीने कांग्रेस नेता राहुल गांधी की सदस्यता मानहानि मामले में चली गई थी। जिसके बाद से ही कांग्रेस और बीजेपी आमने-सामने हैं। दरअसल, कर्नाटक में एक जनसभा को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने मोदी अपनाम को लेकर कहा था कि सारे मोदी सरनेम वाले चोर ही क्यों होते हैं। इसी मामले को बीजेपी नेता पूर्णेंश मोदी ने ओबीसी समाज का अपमान बताते हुए राहुल गांधी पर मानहानि का केस कर दिया था। जिसकी सुनवाई में कोर्ट ने उन्हें दोषी पाया और दो साल की सजा सुनाई थी । जिसके बाद वायनाड से राहुल की सदस्यता रद्द हो गई थी। 


 

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