शिवसेना नाम और चुनाव चिह्न गंवा चुके उद्धव ने मातो श्री के बाहर जुटे समर्थकों से कहा हमारा चुनाव चिह्न चुराया, शिंदे और पीएम मोदी पर भी साधा निशाना
शिवसेना से ठाकरे परिवार का नियंत्रण खत्म शिवसेना नाम और चुनाव चिह्न गंवा चुके उद्धव ने मातो श्री के बाहर जुटे समर्थकों से कहा हमारा चुनाव चिह्न चुराया, शिंदे और पीएम मोदी पर भी साधा निशाना
डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। महाराष्ट्र में शिवसेना का नाम और चुनाव चिह्न गंवा चुके उद्धव ठाकरे ने पार्टी नेताओं की आपात बैठक बुलाई है। पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे ने मातोश्री पहुंचकर पार्टी की बैठक की, और वहां जुटे समर्थकों से कहा हमारा चुनाव चिह्न चुराया। ठाकरे ने इस दौरान शिंदे गुट और पीएम मोदी पर भी निशाना साधा।
करीब 6 दशक बाद अपना सब कुछ खो चुके ठाकरे परिवार के लिए ये मुसीबत का समय है। पूर्व सीएम ने आगे की रणनीति पर विचार विमर्श करने के लिए सांसदों, विधायकों और वरिष्ठ नेताओं की आपात बैठक बुलाई है। माना जा रहा है कि इस बैठक में ठाकरे परिवार इलेक्शन कमीशन के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाने की सोच सकते है। आपको बता दें शुक्रवार को चुनाव आयोग ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को शिवसेना पार्टी का नाम और चुनाव चिन्ह धनुष बाण दे दिया, जिसे उद्धव ठाकरे गुट को बड़ा झटका लगा है। अब उद्धव ठाकरे ने शनिवार 18 फरवरी को मातोश्री में दोपहर एक बजे इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है।
चुनाव आयोग की ओर से शिवसेना नाम, चुनाव चिन्ह 'धनुष और तीर' एकनाथ शिंदे को देने के बाद से साल 1966 में बाल ठाकरे द्वारा बनाई गई शिवसेना से ठाकरे परिवार का नियंत्रण खत्म होना तय माना जा रहा है। आपको बता दें छह महीने पहले एकनाथ शिंदे ने ईसी में याचिका दाखिल की थी। जिस पर अब तीन सदस्यों वाले आयोग ने एकनाथ शिंदे के पक्ष में फैसला सुनाया है। आपको बता दें शिवसेना के 40 विधायक और 13 सांसदों का समर्थन एकनाथ शिंदे वाले गुट को मिला हुआ है। इसी संख्याबल के आधार पर ईसी ने शिवसेना को शिंदे की पार्टी माना है।
आपको बता दें महाराष्ट्र में कुछ महीने पहले मचे सियासी घमासान की सुको में सुनवाई चल रही है, सुनवाई की आगे की तारीख 21 फरवरी है, उससे पहले चुनाव आयोग ने ठाकरे गुट को बहुत बड़ा झटका दे दिया । इसे लेकर
उद्धव ठाकरे ने ईसी पर सवाल उठाते हुए कहा शीर्षस्थ कोर्ट के फैसले से पहले चुनाव आयोग को फैसला नहीं देना चाहिए। ठाकरे ने चुनाव आयोग से कहा कि कोर्ट के फैसले से पहले ईसी को इतनी जल्दी क्यों थी? ठाकरे ने आगे कहा, हम चुनाव आयोग के फैसले के खिलाफ जल्द से जल्द सुप्रीम कोर्ट जाएंगे। ठाकरे ने ईसी के फैसले को लोकतंत्र के लिए खतरनाक बताया।