संजय राउत के बयान से खुश हुए उद्धव ठाकरे, कहा- तैयार रहें जल्द ही होगा प्रदेश में चुनाव
ठाकरे खुश हुए! संजय राउत के बयान से खुश हुए उद्धव ठाकरे, कहा- तैयार रहें जल्द ही होगा प्रदेश में चुनाव
डिजिटल डेस्क, मुबंई। महाराष्ट्र की सियासत से जुड़ी हर दिन कोई न कोई खबर आ ही रही है। पिछले दिन ही शिवसेना (यूबीटी) राज्यसभा सांसद संजय राउत ने एकनाथ शिंदे और फडणवीस सरकार को लेकर दावा किया था कि उनकी सरकार महज 15-20 दिनों की मेहमान है। राउत का कहना था कि, करीब दो या तीन हफ्ते के बीच महाराष्ट्र की मौजूदा सरकार गिर जाएगी। अब इसी दावे पर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने अपनी खुशी जाहिर करते हुए सीएम शिंदे और बीजेपी पर तंज कसा है।
दरअसल, बीते दिन यानी रविवार को उद्धव ठाकरे ने जलगांव में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि, महाराष्ट्र में कभी भी चुनाव हो सकते हैं जिसके लिए तैयार हो जाएं। हमारी पार्टी पूरी मुस्तैदी से चुनाव लड़ने के लिए तैयार है। बता दें कि, फिलहाल महाराष्ट्र की सियासत हर वक्त अपना रंग बदल रही है। कभी बीजेपी की ओर से तो कभी महाविकास अघाड़ी गठबंधन की ओर से कुछ न कुछ ऐसा कहा जा रहा है जिससे प्रदेश की राजनीति में उबाल आ ही जा रहा है।
उद्धव ने क्या कहा?
उद्धव ठाकरे ने अपने संबोधन के दौरान बीजेपी और सीएम एकनाथ शिंदे पर तंज कसते हुए कहा कि, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा है कि, शिंदे की पार्टी को आगामी चुनाव के लिए 288 सीटों में से केवल 48 सीट ही दिए जाएंगे ताकि वो चुनाव लड़ सकें। ये बात कहते हुए ठाकरे ने बीजेपी से सवाल पूछा कि, अगले विधानसभा चुनाव में क्या भाजपा शिंदे के नेतृत्व में चुनाव लड़ेगी?
उद्धव ठाकरे ने एकनाथ शिंदे और उनके समर्थकों का जिक्र करते हुए आगे कहा कि, उन्हें सुनिश्चित करना चाहिए कि जो राजनीतिक तौर पर देशद्रोही बना हुआ है वो खत्म हो जाए, नहीं तो सब देखेंगे की आप खत्म हो गए। अपनी पार्टी का जिक्र करते हुए ठाकरे ने कहा कि, हमने विश्वासघात के कारण बने राज्य पर लगे कलंक को साफ कर दिया है। महाराष्ट्र बहादुर लोगों की भूमि है गद्दारों की नहीं।
क्यों अलग हुए ठाकरे और शिंदे?
आपको बता दें कि, पिछले साल एकनाथ शिंदे और उद्धव ठाकरे साथ ही रहे थे। लेकिन शिंदे ने ठाकरे से बगावत करके अपने समर्थकों के साथ बीजेपी से गठबंधन कर लिया था। जिसकी वजह से महाविकास अघाड़ी की सरकार प्रदेश में गिर गई थी। शिंदे ने शिवसेना खास करके उद्धव से ये कह कर नाता तोड़ लिया था कि वो हिंदुत्व को छोड़ कांग्रेस से हाथ मिला लिया, जिसके खिलाफ कभी बाला साहेब ठाकरे हुआ करते थे। शिंदे के इस बगावत के बाद प्रदेश की राजनीति में भूचाल आ गया था और तमाम उठा पटक के बाद बीजेपी और शिंदे गुट की शिवसेना ने सरकार बना ली और मौजूदा समय में चल भी रही है।
शिवसेना का असली हकदार कौन?
इन सब के बीच इस साल के शुरूआत में शिंदे और ठाकरे गुट एक बार फिर आमने-सामने हुए और उद्धव ने शिवसेना पार्टी पर अपना असली हकदार बताते हुए सुप्रीम कोर्ट का रूख किया क्योंकि भारतीय चुनाव आयोग ने शिंदे को पार्टी का असली हकदार बता दिया था। जिसके खिलाफ उद्धव गुट शिवसेना ने शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाया और उन्हें विश्वास है कि कोर्ट शिवसेना का असली हकदार ठाकरे परिवार के पक्ष में ही फैसला सुनाएगा। फिलहाल यह मामला सुप्रीम कोर्ट में चल रहा है।