सीबीआई ने विवेकानंद हत्याकांड में जगन के सांसद चचेरे भाई को तलब किया
आंध्र प्रदेश सीबीआई ने विवेकानंद हत्याकांड में जगन के सांसद चचेरे भाई को तलब किया
- रिश्तेदारों पर संदेह जताया
डिजिटल डेस्क, अमरावती। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने कडप्पा के सांसद वाई.एस. अविनाश रेड्डी को उनके चाचा और आंध्र प्रदेश के पूर्व मंत्री वाई.एस. विवेकानंद रेड्डी की हत्या के मामले में पूछताछ के लिए तलब किया है। अविनाश रेड्डी आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई.एस. जगन मोहन रेड्डी के चचेरे भाई हैं। उन्हें मंगलवार को हैदराबाद में सीबीआई अधिकारियों के सामने पेश होने के लिए कहा गया है।
वाईएसआर कांग्रेस पार्टी (वाईएसआरसीपी) के सांसद ने हालांकि, कथित तौर पर पुलिवेंदुला में अपने व्यस्त कार्यक्रम के कारण 24 जनवरी को पेश होने में असमर्थता व्यक्त की है और दूसरी तारीख मांगी है। उन्होंने केंद्रीय एजेंसी को आश्वासन दिया कि वह जांच में उसका पूरा सहयोग करेंगे। सीबीआई ने नोटिस उसी दिन दिया, जब उसने अविनाश रेड्डी और उनके पिता भास्कर रेड्डी के कार्यालयों की तलाशी ली।
मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी के चाचा विवेकानंद रेड्डी की चुनाव से कुछ दिन पहले 15 मार्च, 2019 को कडप्पा स्थित उनके आवास पर हत्या कर दी गई थी। राज्य के 68 वर्षीय पूर्व मंत्री और पूर्व सांसद जब अपने घर में अकेले थे, उसी दौरान अज्ञात लोगों ने उनके घर में घुसकर हत्या कर दी। कडप्पा में वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के चुनाव अभियान की शुरुआत करने से कुछ घंटे पहले उनकी हत्या की गई थी।
तीन विशेष जांच दल (एसआईटी) ने मामले की जांच की, लेकिन वे रहस्य को सुलझाने में नाकाम रहे। सीबीआई ने विवेकानंद रेड्डी की बेटी सुनीता रेड्डी की एक याचिका पर सुनवाई करते हुए आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट के निर्देश पर 2020 में मामले की जांच अपने हाथ में ली। सुनीता ने कुछ रिश्तेदारों पर संदेह जताया था।
सीबीआई ने 26 अक्टूबर, 2021 को हत्या के मामले में आरोपपत्र दाखिल किया और 31 जनवरी, 2022 को एक पूरक आरोपपत्र भी दाखिल किया। नवंबर, 2022 में सुप्रीम कोर्ट ने हत्या के पीछे की बड़ी साजिश बताते हुए मुकदमे को हैदराबाद में सीबीआई अदालत में भेज दिया। शीर्ष अदालत ने पाया कि सुनीता रेड्डी द्वारा आंध्र प्रदेश में निष्पक्ष सुनवाई और जांच के बारे में उठाए गए संदेह उचित थे।
आईएएनएस
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