बाजार: रूस-यूक्रेन तनाव के बीच शेयर बाजार में उथल-पुथल, बिकवाली के चलते सेंसेक्स ने गंवाई शानदार बढ़त

यूक्रेन और रूस के बीच ताजा तनाव के चलते मंगलवार को जबरदस्त तेजी देखने के बाद भारतीय शेयर बाजार ने अंत में भारी मुनाफावसूली के चलते अपनी शानदार बढ़त खो दी।

Bhaskar Hindi
Update: 2024-11-19 11:18 GMT

मुंबई, 19 नवंबर (आईएएनएस)। यूक्रेन और रूस के बीच ताजा तनाव के चलते मंगलवार को जबरदस्त तेजी देखने के बाद भारतीय शेयर बाजार ने अंत में भारी मुनाफावसूली के चलते अपनी शानदार बढ़त खो दी।

इंट्रा-डे ट्रेडिंग के दौरान 1,100 से अधिक अंकों की बढ़त के बाद सेंसेक्स पर ब्रेक लगा और यह 239 अंकों की बढ़त के साथ बंद हुआ। यह उलटफेर तब हुआ जब यूक्रेन के सशस्त्र बलों के रूसी सीमा क्षेत्र पर अपना पहला एटीएसीएमएस मिसाइल हमला करने की खबरें सामने आईं, जिसके बाद क्रेमलिन ने गंभीर परिणाम भुगतने की चेतावनी दी।

मीडिया सेक्टर में भारी खरीदारी देखने को मिली। निफ्टी मीडिया में 2.45 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई।

सेंसेक्स 239.37 अंक या 0.31 प्रतिशत की बढ़त के साथ 77,578.38 और निफ्टी 64.70 अंक या 0.28 प्रतिशत की बढ़त के साथ 23,518.50 पर बंद हुआ।

निफ्टी बैंक 262.70 अंक या 0.52 प्रतिशत बढ़कर 50,626.50 पर पहुंच गया। निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स 503.45 अंक या 0.93 प्रतिशत की बढ़त के साथ कारोबार के अंत में 54,548.25 पर बंद हुआ।

निफ्टी स्मॉल कैप 100 इंडेक्स 170.10 अंक या 0.97 प्रतिशत की बढ़त के साथ 17,677.35 पर बंद हुआ।

निफ्टी मीडिया के अलावा ऑटो, आईटी, फार्मा, एफएमसीजी, रियल्टी और निजी बैंक सेक्टर में खरीदारी देखने को मिली।

सेंसेक्स में एमएंडएम, एचडीएफसी बैंक, टेक महिंद्रा, टाइटन, टाटा मोटर्स, सन फार्मा, अल्ट्रा टेक सीमेंट, अदाणी पोर्ट्स, पावर ग्रिड, इंफोसिस, एक्सिस बैंक और टीसीएस टॉप गेनर्स रहे।

वहीं, रिलायंस इंडस्ट्रीज, एसबीआई, टाटा स्टील, बजाज फिनसर्व, मारुति और एलएंडटी टॉप लूजर्स रहे।

बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) में 2,326 शेयर हरे निशान और 1,637 शेयर लाल निशान में कारोबार कर रहे थे। 96 शेयरों में कोई बदलाव नहीं हुआ।

इंडिया वीआईएक्स 3.26 प्रतिशत बढ़कर 15.66 पर पहुंच गया, जो बाजार में अस्थिरता में वृद्धि को दर्शाता है।

एलकेपी सिक्योरिटीज के जतिन त्रिवेदी ने कहा, "रूस और यूक्रेन के बीच भू-राजनीतिक तनाव में अचानक वृद्धि के कारण निफ्टी पूरे सत्र में अस्थिर रहा, जिससे सूचकांक एक बार फिर अपने 200-दिवसीय मूविंग एवरेज (डीएमए) से नीचे आ गया।"

विशेषज्ञों का कहना है कि बढ़ते भू-राजनीतिक तनाव और रूस-यूक्रेन के बीच युद्ध के फिर से तेज होने के कारण बाजार में बिकवाली की स्थिति है। इसके साथ ही रुपये पर दबाव बढ़ गया है।

विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने 18 नवंबर को 1,403 करोड़ रुपये के शेयर बेचे, जबकि घरेलू संस्थागत निवेशकों ने 2,330 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे।

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