लोकसभा में बोले PM मोदी, जो जमानत पर हैं वो एंजॉय करें, प्रतिशोध में नहीं रखते विश्वास
लोकसभा में बोले PM मोदी, जो जमानत पर हैं वो एंजॉय करें, प्रतिशोध में नहीं रखते विश्वास
- अधीर रंजन चौधरी ने प्रधानमंत्री मोदी की गंदी नाली से की थी तुलना
- कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी की टिप्पणी को मोदी ने दिया जवाब
- राष्ट्रपति के अभिभाषण को लेकर अधीर रंजन ने प्रधानमंत्री मोदी पर की थी टिप्पणी
डिजिटल डेस्क, दिल्ली। लोकसभा में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा का जवाब मंगलवार को पीएम मोदी दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि कुछ लोगों को जेल में न डालने के लिए हमें कोसा जा रहा है, मैं उन लोगों को बता देना चाहता हूं कि ये आपातकाल का समय नहीं है, जब सरकार किसी को भी उठाकर जेल में डाल देती थी, ये लोकतंत्र का दौर है, इस मामले पर अदालत फैसला लेगी। हम कानून के रास्ते पर चलते हैं, यदि किसी को अदालत से बेल मिली हुई है तो वो उसे एंजॉय करे। हम प्रतिशोध की भावना में विश्वास नहीं करते हैं।
पीएम मोदी ने कहा कि कांग्रेस नेता कल गिना रहे थे कि किसने क्या किया?, आज 25 जून है, उन्हें बताना चाहिए कि देश में आपातकाल किसने लगाया, देश की आत्मा को किसने कुचला, मीडिया को दबोचा, देश को जेलखाने में किसने तब्दील किया। ये सब सिर्फइसलिए किया गया कि किसी की सत्ता न चली जाए।
पीएम ने कहा, "राष्ट्रपति जी ने अपने भाषण में, हम भारत को कहां ले जाना चाहते हैं, कैसे ले जाना चाहते हैं और देश की सामान्य मानवी की आकांक्षाओं को हम कैसे पूरा करेंगे। उसका एक खाका खींचने का प्रयास किया है। राष्ट्रपति जी का अभिभाषण, देश के नागरिकों ने जिस आशा-आकांक्षाओं के साथ हमें इस सदन में भेजा है, उसकी एक तरह से प्रतिध्वनि है। मैं इस चर्चा को सार्थक बनाने के लिए इसमें भाग लेने वाले सभी सांसदों का हृदय से आभार व्यक्त करता हूं।
पीएम ने कहा, कईं दशकों के बाद देश ने एक मजबूत जनादेश दिया है। एक सरकार को फिर से लाए हैं और पहले से ज्यादा शक्ति देकर लाए हैं। 2019 का जनादेश पूरी तरह कसौटी पर कसने के बाद, हर तराजू पर तौलने के बाद, पल पल को जनता ने जांचा और परखा है और उसके आधार पर समझा है और तब जाकर फिर से हमे चुना है। एक व्यक्ति के रुप में जीवन में इससे बड़ा कोई संतोष नहीं होता है, जब जनता जनार्दन आपके कार्यों को अनुमोदित करती है। ये कोई जीत या हार का प्रश्न नहीं है। ये जीवन की उस आस्था का विषय है, जहां कमिटमेंट क्या होता, डेडिकेशन क्या है, जनता के लिए जीना-जूझना-खपना क्या होता है। और जब पांच साल की अविरत तपस्या का संतोष मिलता है तो वो एक अध्यात्म की अनुभूति करता है।
पीएम ने कहा, चर्चा के प्रारम्भ में पहली बार सदन में आए डॉ प्रताप सारंगी जी और आदिवासी समाज से आयी हमारी बहन हिना गावित जी ने जिस प्रकार से विषय को प्रस्तुत किया और जिस बारीकी से बातों को रखा, तो मैं समझता हूं कि मैं कुछ भी न बोलूं तो भी चलेगा।
बता दें कि दोनों सदनों में चर्चा सोमवार को शुरु हुई थी। प्रश्नकाल के बाद लोकसभा दूसरे दिन चर्चा जारी रही। जबकि राज्यसभा में प्रश्न काल और ज़ीरो आवर के बाद दोपहर 2 बजे से राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा को आगे जारी रखा गया।
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राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर सोमवार को लोकसभा सदन में तीखी बहस शुरू हुई। सरकार की तरफ से सांसद प्रताप सारंगी ने बहस की शुरुआत की जिस पर कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी और AIMIM के सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने भी सरकार पर निशाना साधा। अब आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लोकसभा में बयान देंगे। इस बयान में मोदी 2.0 का एजेंडा दिख सकता है। आज संसद की कार्यवाही बीजेपी के दिवंगत सांसद मदनलाल सैनी को श्रद्धांजलि देने के साथ शुरू होगी।
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सोमवार को लोकसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने विवादित टिप्पणी कर दी, जिससे हंगामा मच गया। बाद में अधीर रंजन चौधरी ने पीएम नरेंद्र मोदी पर विवादित टिप्पणी करने के बाद माफी मांग ली है। अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि ऐसा गलतफहमी में हुआ है। उन्होंने कहा कि उन्होंने पीएम के लिए "नाली" शब्द का इस्तेमाल नहीं किया था। अधीर रंजन चौधरी ने आगे कहास मेरी हिन्दी अच्छी नहीं है। नाली कहने का मेरा मतलब वाटर चैनल से था.’’यदि पीएम मोदी इससे नाराज हैं तो वे व्यक्तिगत और सार्वजनिक तौर पर माफी मांगते हैं।