सत्ताधारी गठबंधन की पार्टियों के बीच बनी सहमति से महंत ठाकुर बन सकते है नेपाल के नए राष्ट्रपति!
नेपाल सत्ताधारी गठबंधन की पार्टियों के बीच बनी सहमति से महंत ठाकुर बन सकते है नेपाल के नए राष्ट्रपति!
- विश्वास मत प्रस्ताव पर दहल सरकार का साथ
डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। जैसे जैसे नेपाल में राष्ट्रपति पर्चा दाखिल करने की तारीख करीब आ रही है, वैसे वैसे नामों पर सहमति बनती जा रही है। अभी तक लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी के नेता महंत ठाकुर सबसे ऊपर हैं। महंत ठाकुर के नाम पर सत्ताधारी गठबंधन की दो सबसे बड़ी पार्टियों का समर्थन मिलता दिख रहा है।
मिली जानकारी के मुताबिक प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल की कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (माओइस्ट सेंटर) और पूर्व प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली की कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल (यूएमएल) दोनों ही पार्टी ठाकुर के समर्थन में है। एक तरफ नेपाली कांग्रेस के नेता दावा कर रहे है कि उनकी पार्टी का उम्मीदवार ही राष्ट्रपति बनेगा। ये पद पाने के लिए ही उन्होंने विश्वास मत प्रस्ताव पर दहल सरकार के पक्ष में मतदान किया था।
लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी का कहना है कि ठाकुर को सर्व सम्मति से उम्मीदवार बनाने के लिए नेपाली कांग्रेस के साथ भी बातचीत चल रही है। ठाकुर के राष्ट्रपति बनने को लेकर अंतिम फैसला माओइस्ट सेंटर, यूएमल और नेपाली कांग्रेस के रुख से ही तय होगा। यूएमएल सूत्रों के मुताबिक ओली ने राष्ट्रपति चुनाव को लेकर विवाद खड़ा किया है, पार्टी के कुछ नेताओं ने आरोप लगाया है कि दहल एक साथ दो नावों की सवारी कर रहे हैं। सत्ताधारी गठबंधन में रहते हुए वे नेपाली कांग्रेस को भी साधने का प्रयास कर रहे है।
अमर उजाला की खबर के मुताबिक लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी में महंत ठाकुर के करीबी नेता सुरेंद्र कुमार झा ने अखबार काठमांडू पोस्ट को बताया कि दहल ने हाल में निजी वार्ताओं में कहा कि पिछले दो राष्ट्रपति बड़ी पार्टियों से आए थे, इसलिए इस बार यह पद किसी छोटी पार्टी को मिलना चाहिए। साथ ही उन्होंने कहा कि महंत ठाकुर एक तटस्थ छवि वाले नेता हैं। इसलिए उन्हें राष्ट्रपति बनाना एक सही कदम होगा। आपको बता दें कुछ दिन पहले ही ओली ने महंत ठाकुर से मुलाकात की थी। तब उनका मकसद राष्ट्रपति चुनाव में लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी का समर्थन हासिल करना था।