जेएनयू में छात्रा के साथ छेड़छाड़ मामले पर डीसीडब्ल्यू ने रजिस्ट्रार को जारी किया नोटिस
नई दिल्ली जेएनयू में छात्रा के साथ छेड़छाड़ मामले पर डीसीडब्ल्यू ने रजिस्ट्रार को जारी किया नोटिस
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। दिल्ली महिला आयोग ने जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार के खिलाफ एक छात्र के यौन उत्पीड़न के संबंध में संज्ञान लिया है। वहीं आयोग ने मामले में रजिस्ट्रार से की गई कार्रवाई का विवरण भी मांगा है। आयोग ने अपने नोटिस में कहा कि, छात्रा के साथ हुए अपराध के बाद से ही जेएनयू में उस घटना को लेकर विरोध प्रदर्शन जारी है। वहीं छात्र और शिक्षक मांग कर रहे हैं कि छात्रों के खिलाफ यौन अपराधों को रोकने के लिए विश्वविद्यालय को जल्द से जल्द सख्त कदम उठाने चाहिए।
साथ ही छात्र यौन उत्पीड़न के खिलाफ जेंडर सेंसिटाइजेशन कमेटी को दोबारा स्थापित करने की मांग कर रहे हैं। आयोग ने नोटिस में आगे कहा कि, पता चला है कि इससे पहले विश्वविद्यालय में यौन उत्पीड़न की शिकायतों से निपटने के लिए जीएससीएएसएच नामक एक कमेटी थी। हालांकि, इसे 2017 में भंग कर दिया गया और कमेटी के स्थान पर एक कानूनी रूप से अनिवार्य आंतरिक शिकायत समिति का गठन किया गया था।
दिल्ली महिला आयोग अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने कहा, यह वास्तव में दुखद है कि ऐसी घटना विश्वविद्यालय परिसर के अंदर हुई। परिसर के अंदर छात्रों की सुरक्षा सुनिश्चित करना विश्वविद्यालय की जि़म्मेदारी है। आयोग ने जेएनयू प्रशासन को नोटिस जारी किया है, जेएनयू प्रशासन को प्रदर्शनकारियों की बात सुननी चाहिए और उनकी जायज मांगों को स्वीकार करना चाहिए।
कानून एक आईसीसी को स्थापित करने का आदेश देता है लेकिन उसमें छात्र और शिक्षक प्रतिनिधि और पारदर्शी नियुक्ति प्रक्रिया क्यों नहीं हो सकती है? आयोग इस मामले में जेएनयू से सक्रिय कार्रवाई की उम्मीद भी करता है। इसके आलावा आयोग ने विश्वविद्यालय की वर्तमान आंतरिक शिकायत समिति में छात्र प्रतिनिधित्व की कमी का मुद्दा उठाते हुए अपनी चिंता व्यक्त की और मौजूदा आंतरिक शिकायत समिति के गठन तथा उससे पहले गठित जीएससीएएसएच के सदस्यों और चुनाव की प्रक्रिया का पूरा विवरण मांगा है।
आयोग ने रजिस्ट्रार से विश्वविद्यालय के परिसर में छात्रों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उठाए जा रहे कदमों पर भी प्रकाश डालने को कहा है। वहीं आयोग ने जेएनयू रजिस्ट्रार को यौन उत्पीड़न मामले पर विस्तृत कार्रवाई रिपोर्ट प्रदान करने के लिए 5 दिन का समय दिया है।
(आईएएनएस)