राशि आहरित करने के बाद आवास न बनाने वालों से वसूली की तैयारी
प्रधानमंत्री आवास राशि आहरित करने के बाद आवास न बनाने वालों से वसूली की तैयारी
डिजिटल डेस्क, रीवा। प्रधानमंत्री आवास के लिए आई राशि का आहरण करने के बाद आवास न बनाने वाले हितग्राहियों से पैसे वापस लिए जाने की तैयारी कर ली गई है। जिले की 827 ग्राम पंचायतों के 5 हजार के करीब ऐसे हितग्राही हैं, जिन्होंने आवास निर्माण के लिए अपने खाते में पैसे प्राप्त किए थे।
वर्ष 2016-17 से प्रधानमंत्री आवास निर्माण का कार्य चल रहा है। आवास के लिए सीधे राशि बनाने के लिए हितग्राहियों के खाते में जा रही है। बावजूद इसके हितग्राही आवास बनाने में पीछे हट रहा है।
आवास न बनाने वालों के खिलाफ कार्रवाई भी शुरू कर दी गई है। वर्ष 2016-17 से लेकर अब तक में 1 लाख 35 हजार 663 आवास ग्रामीण अंचलों के लिए स्वीकृत हुए हैं। जिसमें से 78 हजार 858 आवास अब तक में पूरे हो चुके हैं। लगभग 68 हजार आवास अभी तक अधूरे हैं जिनमें निर्माण कार्य चल रहा है। पांच हजार के करीब ऐसे हितग्राही हैं जिन्होंने प्रथम और द्वितीय किश्त मिलाकर 65 हजार रुपए का आहरण करने के बाद आवास का निर्माण नहीं किया है। इन्हें दो कमरे के आवास पर 1 लाख 40 हजार रुपए के करीब मिल रहे हैं। जनपद पंचायत रायपुर कर्चुलियान अंतर्गत आने वाली 104 ग्राम पंचायतों में से लगभग 2 सौ हितग्राहियों को आवास का निर्माण न कराने पर नोटिस जारी किया गया है। इसी तरह से सिरमौर, मऊगंज, हनुमना, जवा, रीवा, नईगढ़ी, गंगेव ब्लाक के ग्राम पंचायतों के हितग्राहियों को भी नोटिस जारी किया गया है।
वर्ष 2011 की सर्वेसूची में शामिल सभी हितग्राहियों को आवास मिला-
वर्ष 2011 में आर्थिक जनगणना के आधार पर सर्वे किया गया था। जो प्रोफार्मा शासन स्तर से आया था उसमें हर बिन्दु पर हितग्राहियों के संबंध में जानकारी देने का उल्लेख था। इस फार्म को भरने के बाद फीडिंग की गई। पात्रता के दायरे में जो हितग्राही आए उन्हें वर्ष 2016-17 से आवास स्वीकृत होना शुरू हुआ। इसके बाद वर्ष 2018 में एक सर्वे पुन:हुआ जिसे आवास प्लस योजना कहा गया।
डेढ़ लाख में से सिर्फ 85 हजार की स्वीकृति-
वर्ष 2017-18 में प्रधानमंत्री आवास प्लस के लिए हितग्राहियों ने अपना आवेदन ग्राम पंचायतों में किया। बताया जाता है कि लगभग डेढ़ लाख आवेदन नौ जनपदों में आए थे लेकिन सचिव और रोजगार सहायकों ने सभी फार्मों की फीडिंग नहीं किया। जिसके कारण आधे से ज्यादा हितग्राही अभी आवास से वंचित हैं। मार्च के महीने में वर्ष 2017-18 में सूची के अनुसार 85 हजार हितग्राहियों को आवास प्लस में जोड़ा गया है जिसमें से 11 हजार 6 सौ हितग्राहियों को अप्रैल के महीने में फिर से आवास मिल गया है जिनका पंजीयन शुरू है। लेकिन जिनकी फीडिंग नहीं हुई और वे आवास से वंचित हो रहे हैं उनकी तरफ शासन स्तर पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा।
इस तरह वसूली का प्रस्ताव-
जानकारी के मुताबिक ग्राम पंचायत गंगेव के 7 सौ, हनुमना 6 सौ, जवा 7 सौ, मऊगंज 5 सौ, नईगढ़ी 130, रायपुर कर्चुलियान 1 हजार, रीवा 678, सिरमौर 700 एवं त्योंथर 508 हितग्राहियों ने राशि आहरित करने के बाद आवास का निर्माण नहीं शुरू किया है। इनसे राशि वसूली के लिए नोटिस जारी की जा चुकी है।