एडवांस में ही अतिथि शिक्षक ने कर रखे थे हाजिरी रजिस्टर में हस्ताक्षर
शाम चार बजे गुड़ाकला स्कूल पहुंचे डीईओ, पांच मास्साब मिले गैरहाजिर एडवांस में ही अतिथि शिक्षक ने कर रखे थे हाजिरी रजिस्टर में हस्ताक्षर
डिजिटल डेस्क कटनी। स्कूलों में शिक्षकों के द्वारा अध्यापन कार्य में लगातार लापरवाही बरती जा रही है। गुरुवार शाम चार बजे जब शासकीय हाईस्कूल गुड़ाकला में डीईओ पृथ्वी पाल सिंह और रमसा समन्वयक अभय जैन पहुंचे तब सभी बच्चे बाहर निकल रहे थे। अंदर पहुंचने पर तो इस तरह की लापरवाही मिली कि एक अतिथि शिक्षक शुक्रवार का भी एडवांस में रजिस्टर में हस्ताक्षर कर दिया था। एक शाला एक परिसर के तहत यहां पर 70 विद्यार्थियों को पढ़ाने के लिए 8 शिक्षक हैं। जिसमें 4 नियमित और 4 अतिथि शिक्षक हैं, लेकिन निरीक्षण में तीन शिक्षक ही उपस्थित मिले।
रोज कर देते हैं छुट्टी
बच्चों से पढ़ाई का भी डीईओ ने जायजा लिया। बच्चों ने जिला शिक्षा अधिकारी को बताया कि यहां पर रोजाना शाम चार बजे शिक्षक छुट्टी कर देते हैं। शिक्षक यहां पर देरी से पहुंचते हैं तो समय से पहले चले जाते हैं। कोर्स के संबंध में भी डीईओ ने जानकारी ली। बच्चों ने कहा कि वे तो पढ़ाई करना चाह रहे हैं, लेकिन पढ़ाने में ही शिक्षक कतराते हैं। इस संबंध में वे मौखिक रुप से भी यहां के वरिष्ठ शिक्षकों से शिकायत कर चुके हैं। इसकेबावजूद अध्यापन कार्य में ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
उपस्थिति दर्शाकर चले गए घर
यहां पर तो कई शिक्षक ऐसे भी मिले, जो गुरुवार को उपस्थिति दर्शाने के बाद समय से पहले घर चले गए थे। अतिथि शिक्षक केके द्विवेदी गुरुवार के साथ शुक्रवार को भी एडवांस में हाजिरी लगा रखे थे। अखिलेश शर्मा और प्रदीप पटेल स्कूल में मौजूद रहे। आदर्श पाण्डेय का हस्ताक्षर रजिस्टर में जरुर मिला, लेकिन स्कूल से वे नदारत रहे। इसी तरह से नियमित शिक्षकों में गोविंद प्रसाद दाहिया, पुष्पराज तिवारी, निसार अहमद अनुपस्थित मिले।
शिक्षकों को नोटिस
शाम को नियमित शिक्षकों का एक दिन का वेतन काटते हुए उन्हें नोटिस दिया गया है। साथ ही अतिथि शिक्षकों को यह चेताया गया है कि दोबारा इस तरह की लापरवाही मिलने पर सीधे सेवा समाप्त की कार्यवाही की जाएगी। गौरतलब है कि नवंबर माह में राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वे होना है। जिसे लेकर शिक्षा विभाग के अधिकारी और प्रशासनिक अधिकारी लगातार मैदान में भ्रमण कर रहे हैं। इसके बावजूद भी जगह-जगह लापरवाही आ रही है। एक माह के अंदर अधिकारियों को निरीक्षण में दूसरी बार अलग स्कूल में इस तरह की लापरवाही मिली।