होमगार्ड सैनिकों को तीन माह से नहीं मिला वेतन, साहबो के बंगलों की चाकरी और सुरक्षा में हैं तैनात
होमगार्ड सैनिकों को तीन माह से नहीं मिला वेतन, साहबो के बंगलों की चाकरी और सुरक्षा में हैं तैनात
डिजिटल डेस्क,कटनी। अफसरों के बंगले में चाकरी करते हुए पुलिस के कंधे से कंधा मिलाकर हर समय तैनाती देने वाले होमगार्ड सैनिकों का जीवन तीन माह से उधार के भरोसे ही चल रहा है। त्यौहार देहलीज पर है ऐसे में सैनिकों व उनके परिवार की खुशियां वेतन नहीं मिलने से फीकी नजर आ रही हैं। जिन होमगार्ड सैनिकों के पास खेती वगैरह नहीं है और वेतन से ही उनके परिवार का गुजारा होता है उन परिवारों के सामने संकट खड़ा हो गया है। वहीं अधिकारी इस मामले में पूरी तरह चुप्पी साधकर बैठे हैं।
3 माह से नहीं मिला वेतन
जिले के होमगार्ड सैनिकों ने समस्या जाहिर करते हुए कहा कि तीन माह से वेतन भुगतान नहीं किया गया। आपदा, त्यौहारों, धरना-प्रदर्शन, चुनाव आदि कार्यों में पुलिस के समान तैनाती देने और समर्पण के साथ काम कर रहे होमगार्ड सैनिक उपेक्षा का दंश झेल रहे हैं। त्यौहारों में शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए सैनिक ड्यूटी पर तैनात रहते हैं लेकिन विडंबना है कि वेतन न मिलने के कारण वे परिवार को त्यौहार की खुशियां नहीं दे पा रहे हैं।
उधारी भी नहीं दे रहे दुकानदार
सैनिकों का कहना है कि अभी तक किसी प्रकार उधारी का राशन लेकर गुजारा कर रहे थे लेकिन, अब दुकानदारों ने उधारी देना भी बंद कर दिया है। रक्षाबंधन और कजलियां प्रमुख त्यौहार माने जाते हैं ऐसे में उनके बच्चों का उत्साह भी फीका है। विभाग की उदासीनता के कारण होमगार्ड सैनिकों को उनके हक का वेतन नहीं मिल पाया। जिले भर के सैनिक व उनका परिवार आर्थिक संकट से जूझ रहा है।
परिवार कैसे मनाए त्यौहार
उल्लेखनीय है कि मध्यप्रदेश में 15 हजार होमगार्ड सैनिक सेवा दे रहे हैं। इनमें से लगभग 150 सैनिक कटनी जिले में कार्यरत हैं। पूरे प्रदेश के सैनिक विभागीय निर्देशों के अनुसार बराबर सेवाएं दे रहे हैं लेकिन उनकी समस्याओं, सुविधाओं के प्रति विभाग उदासीन रवैया इख्तियार किए हुए है। खास तौर पर तीन माह का वेतन पेंडिंग होने के कारण सैनिकों की समस्याएं अधिक बढ़ी हुई हैं क्योंकि उनकी आर्थिक स्थिति बद से बदतर हो चली है। होमगार्ड सैनिकों के परिवार त्यौहार कैसे मनाएंगे यह चिंता उन्हें सताए जा रही है।
इनका कहना है
मांग के अनुरूप बजट न मिलने से होमगार्ड सैनिकों का वेतन रूका हुआ है। अभी त्रैमासिक सीमा लागू हो चुकी है। ऐसे में वेतन भुगतान कर पाना संभव नहीं है। जैसे ही बजट मिलेगा वेतन दे दिया जाएगा। -भोजराज श्रीवास्तव, लेखा पाल, वित्त विभाग