बड़े हादसे से बाल-बाल बची बेतवा एक्सप्रेस, स्टेशन में टूटी थी कपलिंग
बड़े हादसे से बाल-बाल बची बेतवा एक्सप्रेस, स्टेशन में टूटी थी कपलिंग
डिजिटल डेस्क, सतना। दुर्ग से चलकर कानपुर की ओर जा रही बेतवा एक्सप्रेस सोमवार को यहां बड़े हादसे से बाल-बाल बच गई। गनीमत तो ये रही कि इंजन से लगे पहले कोच की कपलिंग यहां स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर -2 पर ही टूट गई। माना जा रहा है कि अगर यही घटना चलती ट्रेन के बीच में होता तो बड़ा हादसा हो सकता था। रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने माना की सामान्य स्थितियों में ये गाड़ी 120 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से चलती है। बताया गया है कि अपने निर्धारित समय से 58 मिनट विलंब से चल रही बेतवा एक्सप्रेस सुबह 6 बज कर 31 मिनट पर स्टेशन पहुंची। गाड़ी जैसे ही गंतव्य के लिए रवाना हुई महज 2 मीटर की दूरी पर इंजन से लगी पहली बोगी का संपर्क टूट गया। कपलिंग टूटते ही ड्राइवर ने गाड़ी खड़ी कर दी। तत्काल मैसेज डिप्टी एसएस को दिया गया। मौके पर पहुंचे सीएनडब्ल्यू के स्टाफ ने कपलिंग सुधारी और इस तरह से 30 मिनट की देरी से बेतवा एक्सप्रेस को आगे के लिए छोड़ा गया।
2 घंटे मेन लाइन पर फंसी रह गई मालगाड़ी
मुंबई-हावड़ा रेल खंड के सतना जंक्शन स्थित यार्ड में विद्युतीकरण में विलंब अब घोर लापरवाही का भी सबब बन चुका है। रेल सूत्रों ने बताया कि सोमवार को इसी लापरवाही के चलते बिजली के डबल इंजन का एक इंजन ऐन वक्त पर फेल हो जाने के कारण सीमेंट से लोड मालगाड़ी लगभग 2 घंटे तक प्लेट फार्म नंबर-2 की डाउन मेन लाइन में फंसी रह गई। इस गतिरोध की खबर पर एरिया मैनेजर मृत्युजंय कुमार और स्टेशन मास्टर एमआर मीणा फौरन मौके पर पहुंचे। आरई के अफसरों को तलब किया गया तो पता चला कि यार्ड के पूर्वी हिस्से के पेंट्रो में बिजली की सप्लाई ही नहीं है। पावर नहीं मिलने के कारण ही बिजली का ंइंजन बंद हो गया था। जैसे-तैसे पावर देकर मल्टी इंजन लगाया और फिर मालगाड़ी गंतव्य के लिए रवाना की गई। ये मालगाड़ी जबलपुर की ओर से आई थी, यार्ड लाइन में बिजली के इंजन पर प्रतिबंध के कारण इसमें मेनलाइन में ही बिजली का इंजन लगाया जाना था,लेकिन जब मल्टी इंजन मालगाड़ी की ओर बढ़ा तो बंद हो गया।