मोर्चा: ‘शासन आपके द्वार’ में करोड़ों रुपए खर्च कर रही सरकार : पाटील
राकांपा ने निकाला ट्रैक्टर आक्रोश मोर्चा
डिजिटल डेस्क, अमरावती। राज्य सरकार “शासन आपल्या दारी’ ( शासन आपके द्वार) कार्यक्रम में करोड़ों रुपए खर्च कर रही है। सिर्फ एक कार्यक्रम के आयोजन पर 5-5 करोड़ रुपए खर्च किए जा रहे हैं। उसके बाद भी आमजन और किसानों की समस्याएं सुलझ नहीं रही हैं। यही वजह है कि हमें जगह-जगह आक्रोश मोेर्चा निकालना पड़ रहा है। यह आरोप राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी प्रदेश अध्यक्ष (राकांपा) जयंत पाटील ने लगाया। वह जिलाधिकारी कार्यालय के सामने सड़क पर ट्रैक्टर आक्रोश मोर्चा को संबोधित करते समय मंगलवार 5 दिसंबर को बोल रहे थे। ट्रैक्टर मोर्चा नेहरु मैदान से आरंभ होकर इर्विन चौक से जिलाधिकारी कार्यलय पहुंचा। ट्रैक्टर पर मंच बनाया गया था।
पाटील ने कहा कि अविधेशन में 7 दिसंबर को हम किसानों की विभिन्न मांगों को रखकर सरकार के ऊपर दवाब बनाएंगे। विदर्भ की समस्याओं को सुलझाने के लिए एक माह का अधिवेशन होना चाहिए किन्तु सिर्फ 10 दिन का रखा है , उसमें भी शनिवार और रविवार बीच में होने के कारण बड़े नेता सिर्फ 5 दिन ही उपस्थित दर्ज करवाएंगे। किसानों को व्यापारियों के भरोसे छोड़ दिया है। सरकार का ध्यान मुंबई, पुणे पर है लेकिन अमरावती, नागपुर और मराठवाड़ा पर नहीं है। बीमा कंपनियों ने किसानों के साथ धोखाधड़ी की है। दूसरी ओर गांव के युवा खाद या बीज बेचते हैं तो कंपनी को न पकड़कर उनको जेल में डालने का निर्णय सरकार ने लिया है।
सरकार की नीति सही नहीं : पूर्व मंत्री अनिल देशमुख ने कहा कि यहां कपास की फसल बड़े पैमाने में होती है। हमारी सरकार के समय 13 से 14 हजार रुपए थे लेकिन सरकार बदलते ही दाम कम हो गए। इस सरकार की नीति सही नहीं होने से कपास के भाव 7 हजार से भी कम हैं। किसानों ने नुकसान भरपाई की मांग की। उनको फ्री में बीमा दिया , लेकिन लाभ नहीं मिला। युवकों के पास काम नहीं हैं। मिहान के उद्योग गुजरात चले गए। इस दौरान गुलाबराव गावंडे, प्रदेश उपाध्यक्ष गणेश राय, वेदप्रकाश आर्य, शरद तसरे, ग्रामीण जिलाध्यक्ष सुनील वर्हाडे, शहराध्यक्ष हेमंत देशमुख, महिला शहराध्यक्ष संगीता ठाकरे, राष्ट्रवादी युवक कांग्रेस शहराध्यक्ष विनेश आड़तिया आदि प्रमुख रूप से उपस्थित थे।