स्व-सहायता समूह की महिलाएं हो रही आत्मनिर्भर (सफलता की कहानी)!

Self-help group women are becoming self-reliant (success story)!
स्व-सहायता समूह की महिलाएं हो रही आत्मनिर्भर (सफलता की कहानी)!
सफलता की कहानी स्व-सहायता समूह की महिलाएं हो रही आत्मनिर्भर (सफलता की कहानी)!

डिजिटल डेस्क | उज्जैन राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के अन्तर्गत गठित किये गये स्व-सहायता समूह की महिलाएं आत्मनिर्भर बनने में सार्थक साबित हो रही है। समूह की कई महिलाएं अपना रोजगार कर न सिर्फ अपने आपको आत्मनिर्भर बना रही है, बल्कि वे अपने घर का सहारा भी बनी हैं।

उज्जैन नगर पालिक निगम अन्तर्गत राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के सहयोग से समूह की कई महिलाएं छोटे-छोटे उद्योग का सफल संचालन कर रही है और अपने उत्पादों को बाजार में बेचना भी प्रारम्भ कर दिया है। बालाजी स्व-सहायता समूह की अध्यक्ष श्रीमती रीना बैस जिन्होंने न सिर्फ अपनी आजीविका का निर्माण किया, बल्कि समूह गठित कर अन्य महिलाओं को जोड़कर उन्हें भी अपने पैरों पर खड़ा किया है।

इससे वे अपनी आजीविका को सृजन कर रही है। समूह के द्वारा ऐसी अनुपयोगी सामग्री का पुन: उपयोग कर सुन्दर कलाकृतियां का निर्माण कर रही है, जो दिखने में आकर्षक है। बालाजी स्व-सहायता समूह को उज्जैन नगर पालिक निगम के माध्यम से 1.80 लाख का ऋण प्राप्त हुआ है। इसमें शासन से 10 हजार रुपये का अनुदान भी प्राप्त हुआ है। समूह के द्वारा हाट बाजारों में दुकानें लगाकर अपने द्वारा बनाई गई कलाकृतियों को विक्रय किया जा रहा है।

Created On :   1 Nov 2021 4:45 PM IST

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